किंग मेकर बन सकते हैं माया-अखिलेश, यूपी के हाथों में मध्यप्रदेश के सत्ता की चाबी

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उत्तर प्रदेश ।। केन्द्र में सरकार बनाने में अहम भूमिका निभाने वाले यूपी की सियासत अब मध्यप्रदेश में सियासत में अहम रोल निभाने वाली है। एमपी में भाजपा और कांग्रेस के बीच कांटे की टक्कर है ऐसे में माना जा रहा है कि मध्यप्रदेश में सत्ता की चाबी अब बसपा और सपा के हाथों में होगी।

सपा को एक औऱ बहुजन समाज पार्टी को 5 सीटों पर बढ़त मिली है। माना जा रहा है कि सरकार बनाने में इन दोनों ही दलों के सहयोग की जरूरत पड़ती है। मायावती ने अपने विधायकों को दिल्ली बुलाया है वहीं, मध्यप्रदेश प्रभारी रामअचल राजभर ने कहा है कि किस दल को समर्थन देना है इसका फैसला मायावती जी करेंगी।

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वहीं, सूत्रों का कहना है कि बहुजन समाज पार्टी की सुप्रीमो मायावती ने पांच राज्यों के रुझान को देखते हुए यह स्पष्ट किया कि उनकी पार्टी किसी भी स्थिति में बीजेपी के साथ नहीं जाएगी। छत्तीसगढ़, राजस्थान और एमपी के निर्वाचित विधायकों को मायावती ने दिल्ली बुलाया है। वहीं, दूसरी तरफ समाजवादी पार्टी के महासचिव रामगोपाल यादव ने कांग्रेस के साथ जाने की बात कही है। उन्होंने कहा, जरूरत पड़ी तो कांग्रेस का करेंगे समर्थन।

सूत्रों का कहना है कि कांग्रेस और बीजेपी दोनों ही पार्टियां बीएसपी और सपा के के संपर्क में हैं। बता दें कि कांग्रेस और बीजेपी दोनों बहुमत से दूर हैं। बीजेपी 107 सीट पर आगे चल रही है और कांग्रेस 109 सीट पर आगे है और अन्य 14 सीटों पर आगे चल रहे हैं। ऐसे में सरकार बनाने में अन्य खासतौर से बीएसपी के विधायक अहम भूमिका निभा सकते हैं।

शिवराज सरकार के कई मंत्री पीछे: सीएम शिवराज सिंह चौहान के कई मंत्री पीछे चल रहे हैं। स्कूली शिक्षा मंत्री दीपक जोशी, पीडब्ल्यूडी मंत्री रामपाल और जनसंपर्क मंत्री नरोत्तम मिश्रा, दमोह से वित्त मंत्री जयंत मलैया समेत भाजपा के कई बड़े नेता पीछे चल रहे हैं। वहीं, मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने बुदनी विधानसभा सीट से बड़ी बढ़त बनाए हुए हैं।

मध्यप्रदेश में कांग्रेस और बसपा की अटकलें थे लेकिन दोनों के बीच गठबंधन नहीं हो पाया है। मायावती ने दिग्विजय को बीजेपी का एजेंट बताते हुए कहा कि सोनिया गांधी और राहुल चाहते थे कि बसपा के साथ गठबंधन हो और देश में भाजपा के खिलाफ एक महागठबंधन बने। लेकिन दिग्विजय सिंह ने गठबंधन नहीं होने दिया। इसके साथ ही मायावती ने मध्यप्रदेश में बसपा के अकेले चुनाव लड़ने का एलान कर दिया था।

फोटो- फाइल

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