UP- इस विभाग के अफसरों पर कभी भी गिर सकती है गाज, सीएम योगी के आदेश पर हो रही जांच

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उत्तर प्रदेश ।। सहकारिता विभाग में लगातार भ्रष्टाचार कर रहे अधिकारियों पर जल्द ही गाज गिरने वाली है। इन विभाग की सभी शाखाओं में तैनात अधिकारियों की हो रही जांच में सीएम के आदेश के बाद तेजी आ गई है। जिससे कयास लगाए जा रहे ऐसे अधिकारियों की कुंडली जल्द ही सीएम योगी तक पहुंच जाएगी, जिसके बाद कार्रवाई तय है।

आपको बता दें कि उत्तर प्रदेश को-आपरेटिव बैंक के एमडी रविकांत सिंह के निलंबन के बाद कई अफसरों पर कार्रवाई की तलवार लटक रही है। बताया जा रहा है कि कोआपरेटिव बैंक में हुई भर्तियों में रविकांत ने बड़े पैमाने पर गड़बड़ी की थी। जिसके उजागर होने के बाद सीएम ने तत्कान उन्हे निलंबित कर जांच बैठा दी थी, जो कछुए की चाल से चल रही थी। इसकी जानकारी सीएम को हुई तो उन्होने जांच में लगे अधिकारियों के पेंच कसे, जिससे जांच में तेजी आई है।

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इसी तरह उत्तर प्रदेश राज्य भंडारण निगम के एमडी आलोक सिंह पर संविदाकर्मियों के विनियमितीकरण और अनियमितता और बिना टेंडर के काम कराने का आरोप था। इस मामले की जांच आंद्रा वामसी को दी गई है। इसके अलावा उत्तर प्रदेश राज्य निर्माण सहकारी संघ के एमडी धीरेन्द्र सिंह पर भी कई आरोप लगे हैं। इस मामले की जांच भी प्रचलित है।

वहीं उत्तर प्रदेश सहकारी ग्राम विकास बैंक में की गई 1030 कर्मचारियों की भर्ती में बड़े पैमाने पर हुई हेराफेरी की जांच चल रही है। इसके नियुक्ति के वक्त तैनात रहे प्रबंध निदेशक से लेकर लोक सेवा मंडल के अध्यक्ष और सदस्यों पर तलवार लटक रही है। इस भर्ती को लेकर शिकायत की गई थी कि इसमें अकेले इटावा जिले के ही दो सौ से ज्यादा लोगों की भर्ती कर ली गई थी। जिसकी जांच में जुटी एसआईटी जल्द ही आरोपितों से पूछताछ करेगी। फिलहाल एसआईटी ने उत्तर प्रदेश कोआपरेटिव में तैनात तीन अधिकारियों को हटाने की संसतुति कर दी है।

फोटो- फाइल

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