तिजोरी में रखे सोने को लूटने के लिए की भाई की हत्या, दो अरेस्ट

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गाजियाबाद के बहुचर्चित मुथूट फाइनेंस मैनेजर हत्याकांड के मामले में आखिरकार चार माह बाद पुलिस ने खुलासा एक किया है। मामले में पुलिस ने मैनेजर के भाई समेत दो लोगों को गिरफ्तार किया है, जबकि दो अन्य आरोपी अभी फरार हैं। पकड़े गए आरोपियों की पहचान परविंदर और चमनलाल कश्यम के रूप में हुई है। वहीं सुनील और दीपक जो साजिश का हिस्सा थे, फिलहाल फरार हैं। बताया जा रहा है कि लूट के मकसद से यह हत्या की गई थी। मंगलवार को इस संबंध में नोएडा पुलिस ने जानकारी दी।

पुलिस ने बताया कि मुथूट कंपनी में मैनेजर के पद पर कार्यरत आजाद ने अपने भाई परविंदर को 10 हजार रुपये उधार दिए थे। जिस पर आजाद लंबे समय से परविंदर से अपने रुपये मांग रहा था। इसी के चलते परविंदर ने अपने तीन अन्य साथियों के साथ मिलकर परविंदर की शाखा को लूटने की योजना बनाई, जिसका आजाद ने विरोध किया तो उसकी गोली मार कर हत्या कर दी गई।

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आजाद की हत्या करने के बाद चारों ने उसके शव को नोएडा के बादलपुर थाना क्षेत्र के नाले में फेंक दिया। पुलिस ने 20 जून को आजाद का शव नाले से बरामद किया था। जिसके बाद हत्या का मामला दर्ज कर जांच शुरू की गई। शुरूआत में पुलिस को यह मामला आपसी रंजिश का लगा था, लेकिन गहन जांच में पता चला परविंदर का नाम सामने आया और उसको हिरासत में लेकर पूछताछ करने पर उसने हत्या की बात कबूल ली।

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