नौजवान और बच्चे तेजी से हो रहें हैं एनीमिया के शिकार, जानें वजह

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हेल्थ डेस्क. एनीमिया एक ऐसी बिमारी है जिस पर ज्यादा ध्यान नहीं दिया जाता। लेकिन हॉल ही में आई एक रिपोर्ट में पाया गया है कि एनिमिया न केवल वयस्कों में बल्कि बच्चों में भी आमतौर पर पाया जाता है।

 

 

अध्ययन में यह भी पाया गया कि उम्र के साथ एनिमिया की संभावना बढ़ती है। सर्वेक्षण के परिणाम जनवरी 2016 से मार्च 2019 के बीच देश भर की एसआरएल लैबोरेटरीज में हीमोग्लोबिन जांचों की रिपोर्ट्स पर आधारित है।

डॉक्टर ने बताया शरीर में लाल रक्त कोशिकाओं या हीमोग्लोबिन की कम मात्रा होने पर शरीर के ओर्गेन सिस्टम को स्थायी नुकसान पहुंचता है। लाल रक्त कोशिकाओं की कमी से शरीर में खून के जरिए ऑक्सीजन का प्रवाह कम मात्रा में हो पाता है जिससे मरीज में कई लक्षण नजर आते हैं।

जैसे थकान, त्वचा का पीला पड़ना, सिर में दर्द, दिल की धड़कनों का अनियमित होना और सांस फूलना। अन्य लक्षणों में शामिल हैं मूड में बदलाव और चिड़चिड़ापन, कमजोरी। एनिमिया का सबसे आम कारण है आयरन की कमी, जिसका इलाज करना आसान है। ज्यादातर बीमारियों के मामले में जागरूकता बहुत महत्वपूर्ण होती है।

विश्व स्वास्थ्य संगठन के अनुसार, दुनिया भर में दो अरब लोग एनिमिया से ग्रस्त हैं और इनमें से आधे मामलों का कारण आयरन की कमी ही होता है।

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