img

Up Kiran, Digital Desk: केरल में हुए स्थानीय निकाय चुनावों में कांग्रेस के नेतृत्व वाले संयुक्त लोकतांत्रिक मोर्चे (यूडीएफ) की शानदार जीत के बाद भाजपा ने विपक्षी नेता राहुल गांधी पर तीखा हमला बोला। भाजपा के आईटी सेल के प्रमुख अमित मालवीय ने एक पोस्ट में यह सवाल उठाया कि जब नतीजे विपक्ष के पक्ष में नहीं आते, तो राहुल गांधी इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन (ईवीएम) को दोषी ठहराते हैं, लेकिन जब विपक्षी गठबंधन जीतता है तो इस पर कोई सवाल नहीं उठाते। मालवीय का कहना था कि यह रवैया लोकतंत्र को कमजोर करता है और जनता के विश्वास को प्रभावित करता है।

लोकतंत्र में जिम्मेदारी की आवश्यकता
भाजपा नेता ने स्पष्ट रूप से कहा कि लोकतंत्र को केवल चुनिंदा भरोसे पर नहीं चलाया जा सकता। उनका यह भी कहना था कि विपक्षी पार्टियों को उस व्यवस्था की आलोचना करने से बचना चाहिए, जिस पर वे चुनाव जीतने के बाद निर्भर होते हैं। इस प्रकार का व्यवहार लोकतंत्र को मजबूत नहीं करता और जनता के बीच एक नकारात्मक संदेश भेजता है। मालवीय ने विपक्ष से अपील की कि यदि वे एक मजबूत और विश्वसनीय राजनीतिक विकल्प बनना चाहते हैं, तो उन्हें अपने आचरण में निरंतरता और जवाबदेही दिखानी होगी।

राजनीतिक नैतिकता पर विचार
अमित मालवीय ने अपने पोस्ट में यह भी कहा कि विपक्षी दलों को चुनावी परिणामों पर सवाल उठाने से पहले अपनी राजनीतिक नैतिकता पर विचार करना चाहिए। यदि कोई दल बार-बार चुनावी प्रक्रिया का हिस्सा बनता है और फिर परिणामों पर सवाल उठाता है, तो यह उसकी राजनीतिक विश्वसनीयता पर सवाल खड़ा करता है। उन्होंने विपक्षी दलों से आग्रह किया कि उन्हें हर हार को लोकतांत्रिक संस्थाओं का सम्मान करते हुए स्वीकार करना चाहिए, और अपनी आंतरिक जिम्मेदारी और ईमानदारी पर ध्यान देना चाहिए।

यूडीएफ की जीत का महत्व
वहीं, यूडीएफ की शानदार जीत पर राहुल गांधी ने अपनी प्रतिक्रिया दी। उन्होंने केरल में अपनी पार्टी के प्रदर्शन की सराहना करते हुए इसे जनता के बढ़ते विश्वास का प्रतीक बताया। गांधी ने कहा कि यह जीत गठबंधन के नेताओं की मेहनत और उनके समर्पण का परिणाम है। उन्होंने विश्वास व्यक्त किया कि यूडीएफ 2026 के केरल विधानसभा चुनाव में भी जीत हासिल करेगा। उनका कहना था कि यह विजय सिर्फ एक राजनीतिक जीत नहीं है, बल्कि यह केरल के लोगों की उम्मीदों और आकांक्षाओं की जीत है।

जनता का समर्थन
राहुल गांधी ने कहा, "स्थानीय निकाय चुनावों में यूडीएफ पर जनता का विश्वास बढ़ा है, और यह एक स्पष्ट जनादेश है।" उन्होंने इस बात पर भी जोर दिया कि उनका ध्यान अब केवल जनता के मुद्दों पर रहेगा, ताकि सरकार जनता के लिए जवाबदेह और पारदर्शी हो। उन्होंने कहा, "अब हमारा पूरा ध्यान केरल के नागरिकों के साथ खड़ा रहकर उनकी चिंताओं को हल करने और एक ईमानदार प्रशासन सुनिश्चित करने पर है।"