
Up Kiran, Digital Desk: सोमवार को जब भारतीय शेयर बाजार ने सुस्ती को पीछे छोड़कर जोरदार वापसी की, तो बड़े-बड़े दिग्गज शेयरों के साथ-साथ एक 'छोटे' शेयर ने सबका ध्यान अपनी ओर खींच लिया। बाजार में लौटे भरोसे के इस माहौल में, इस स्मॉलकैप स्टॉक ने एक ही दिन में 15% से भी ज्यादा की रॉकेट जैसी छलांग लगाई, जिससे निवेशक हैरान रह गए।
बाजार में हरियाली, इस शेयर में 'दिवाली'
पिछले कुछ कारोबारी सत्रों की गिरावट के बाद, आज बाजार में खरीदारों का जोश लौट आया। सेंसेक्स और निफ्टी हरे निशान में कारोबार कर रहे थे। लेकिन असली एक्शन तो स्मॉलकैप इंडेक्स में देखने को मिला। इसी तेजी का फायदा उठाते हुए, के शेयरों पर निवेशक ऐसे टूटे मानो कोई बड़ी खजाना हाथ लग गया हो।
सुबह कारोबार खुलते ही इस शेयर में तेजी आनी शुरू हो गई और देखते ही देखते यह 15% से भी ऊपर पहुंच गया। इस जबरदस्त तेजी के पीछे भारी ट्रेडिंग वॉल्यूम का भी हाथ था, जिसका मतलब है कि बड़ी संख्या में शेयरों की खरीद-बिक्री हुई।
क्यों आई यह तूफानी तेजी?
बाजार विशेषज्ञों का मानना है कि इस उछाल के पीछे कई वजहें हो सकती हैं:
बाजार का सुधरा हुआ मूड: जब भी बाजार में गिरावट के बाद रिकवरी आती है, तो निवेशक उन अच्छे शेयरों की तलाश करते हैं जो सस्ते भाव पर मिल रहे हों। स्मॉलकैप शेयर जो पिछली गिरावट में ज्यादा टूटे थे, उनमें सबसे तेज रिकवरी देखने को मिलती है।
कंपनी से जुड़ी अच्छी खबर: अक्सर इस तरह की बड़ी तेजी के पीछे कंपनी से जुड़ी कोई सकारात्मक खबर, जैसे कोई बड़ा ऑर्डर मिलना, अच्छे तिमाही नतीजे की उम्मीद या किसी नए प्रोजेक्ट का ऐलान हो सकता है।
हाई-रिस्क, हाई-रिटर्न का खेल: स्मॉलकैप शेयर हमेशा से ही हाई-रिस्क, हाई-रिटर्न वाले माने जाते हैं। इनमें गिरावट भी तेजी से आती है और मुनाफा भी तेजी से बनता है। बाजार का सेंटिमेंट पॉजिटिव होते ही साहसी निवेशक इनमें बड़ा दांव लगाते हैं।
निवेशकों को क्या करना चाहिए?
एक ही दिन में 15% का रिटर्न देखना बहुत आकर्षक लगता है, लेकिन निवेशकों को यहां सावधानी बरतनी चाहिए। स्मॉलकैप शेयरों में निवेश करने से पहले सिर्फ एक दिन की तेजी को देखकर फैसला करना खतरनाक हो सकता है। किसी भी कंपनी में पैसा लगाने से पहले उसकी फंडामेंटल जांच, यानी कंपनी का बिजनेस, मुनाफा, और भविष्य की योजनाओं के बारे में अच्छी तरह से रिसर्च करना बेहद जरूरी है।
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