
Up Kiran, Digital Desk: भारतीय बैंकिंग सेक्टर से जुड़ी एक बड़ी खबर सामने आ रही है। सरकार, IDBI बैंक में अपनी बची हुई हिस्सेदारी बेचने की प्रक्रिया को अक्टूबर 2025 तक पूरा करने की तैयारी में है। सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार, यह 'रणनीतिक बिक्री' अगले साल तक पूरी हो सकती है, जो भारत के विनिवेश कार्यक्रम के लिए एक महत्वपूर्ण कदम होगा।
क्या है मामला? IDBI बैंक में सरकार की वर्तमान में लगभग 45.48% हिस्सेदारी है, जबकि भारतीय जीवन बीमा निगम (LIC) की 49.24% हिस्सेदारी है। सरकार और LIC दोनों मिलकर इस बैंक में अपनी बड़ी हिस्सेदारी बेचने की योजना बना रहे हैं, जिसे 'रणनीतिक विनिवेश' कहा जाता है। इसका मतलब है कि सरकार बैंक का नियंत्रण निजी हाथों में सौंपना चाहती है।
क्यों अहम है यह बिक्री? IDBI बैंक का विनिवेश सरकार के लिए एक बड़ी वित्तीय उपलब्धि होगी। यह दिखाता है कि सरकार अब धीरे-धीरे उन सार्वजनिक क्षेत्र के उपक्रमों से बाहर निकलना चाहती है, जहां उसकी उपस्थिति अनिवार्य नहीं है। इससे सरकार को राजस्व मिलेगा, जिसका उपयोग वह विकास परियोजनाओं या राजकोषीय घाटे को कम करने में कर सकती है।
आगे क्या? जानकारी के मुताबिक, इस डील के लिए प्रारंभिक बोलियां (Expression of Interest - EoI) पहले ही आमंत्रित की जा चुकी हैं और कई बड़े वित्तीय खिलाड़ियों ने इसमें दिलचस्पी दिखाई है। अब अगला चरण बोलीदाताओं के लिए 'डेटा रूम' खोलने और वित्तीय बोलियां (financial bids) प्राप्त करने का होगा। अक्टूबर 2025 तक इस प्रक्रिया के पूरा होने की उम्मीद है, जिसके बाद IDBI बैंक पूरी तरह से निजी क्षेत्र के नियंत्रण में आ जाएगा।
--Advertisement--