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Up Kiran, Digital Desk: अंडर-19 क्रिकेट का मंच युवा खिलाड़ियों के भविष्य की नींव रखता है और इस वक्त इंग्लैंड और भारत की जूनियर टीमें टेस्ट सीरीज़ में आमने-सामने हैं। चेम्सफोर्ड के काउंटी ग्राउंड पर खेले जा रहे दूसरे यूथ टेस्ट के दौरान एक ऐसा नाम सामने आया जिसने क्रिकेट प्रेमियों का ध्यान खींचा – इंग्लैंड की ओर से खेल रहे भारतीय मूल के एकांश सिंह।
एकांश सिंह: नई जड़ें, पुराना जुनून
जब इंग्लैंड की पारी 80 रन पर आधी टीम खोकर संकट में थी, तब 19 वर्षीय एकांश सिंह ने क्रीज पर मोर्चा संभाला और जिम्मेदारी से भरी 117 रनों की पारी खेली। उन्होंने 155 गेंदों में 14 चौके और 3 छक्के जड़कर यह जता दिया कि खेल भावना किसी एक देश की सीमाओं में नहीं बंधती।
ऑर्फिंगटन, लंदन में जन्मे एकांश भले ही इंग्लैंड की ओर से खेल रहे हों, लेकिन उनका क्रिकेट से रिश्ता भारतीय जड़ों से गहराई से जुड़ा हुआ है। मई 2025 में उन्होंने केंट की टीम से फर्स्ट क्लास डेब्यू किया था और उसी साल जुलाई में उन्हें ऑफिशियल कॉन्ट्रैक्ट भी मिला।
इंग्लैंड की वापसी की कहानी
इंग्लैंड की टीम जब लड़खड़ा रही थी, तब एकांश के अलावा कप्तान थॉमस रेव ने 59 रन और निचले क्रम के बल्लेबाज़ जेम्स मिंटो ने 46 रन बनाकर टीम को 309 के चुनौतीपूर्ण स्कोर तक पहुंचाया। खास बात यह रही कि यह साझेदारियां तब हुईं जब भारतीय गेंदबाज़ लगातार दबाव बनाए हुए थे।
भारत के लिए सबसे प्रभावी गेंदबाज़ रहे नमन पुष्पक, जिन्होंने 17 ओवर में 4 विकेट लेकर इंग्लिश बल्लेबाज़ों की कमर तोड़ने की कोशिश की। साथ ही आदित्य रावत और अम्ब्रीश ने भी 2-2 विकेट लेकर अपनी उपस्थिति दर्ज कराई।
भारत की शुरुआत में मिला झटका
दूसरे दिन जब भारत ने अपनी पहली पारी की शुरुआत की, तो सलामी बल्लेबाज़ वैभव सूर्यवंशी ने शुरुआत तो आक्रामक अंदाज़ में की, लेकिन ज्यादा देर टिक नहीं सके। उन्होंने सिर्फ 14 गेंदों में 20 रन बनाए जिसमें दो छक्के और एक चौका शामिल रहा। हालांकि, उनकी यह तेज़ पारी लंबे समय तक टिकाव नहीं दे सकी।
दिन के अंत तक भारत ने 1 विकेट के नुकसान पर 51 रन बना लिए थे और कप्तान आयुष म्हात्रे क्रीज़ पर डटे हुए थे। आने वाले दिन खेल के लिहाज़ से अहम होंगे क्योंकि अब टीम इंडिया की नजरें विपक्षी स्कोर को पार करने और सीरीज़ में बढ़त बनाने पर होंगी।
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