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bangladesh unrest : देश में बढ़ती अशांति के बीच सैयद रेफात अहमद ने रविवार को बांग्लादेश के नए मुख्य न्यायाधीश के रूप में शपथ ली। इससे एक दिन पहले ही ओबैदुल हसन ने न्यायपालिका में सुधार की मांग कर रहे प्रदर्शनकारियों के अल्टीमेटम के बाद शीर्ष न्यायाधीश के पद से इस्तीफा दे दिया था। 10 अगस्त को हसन और शीर्ष अपीलीय प्रभाग के पांच अन्य जजों ने बड़े पैमाने पर सड़क पर विरोध प्रदर्शनों के बीच शेख हसीना के शासन के पतन के पांच दिन बाद अपना इस्तीफा दे दिया था।

हसन का इस्तीफा उस वक्त आया जब भेदभाव विरोधी छात्र आंदोलन के प्रदर्शनकारी शीर्ष अदालत परिसर में एकत्र हुए। इससे पहले, उन्होंने उन्हें और अपीलीय प्रभाग के न्यायाधीशों को दोपहर 1 बजे तक इस्तीफा देने का अल्टीमेटम जारी किया था।

तो वहीं सैयद रेफात अहमद ने स्थानीय समयानुसार दोपहर करीब 12:45 बजे राष्ट्रपति के आधिकारिक आवास के दरबार हॉल में एक समारोह के दौरान नए मुख्य न्यायाधीश के रूप में शपथ ली।

सैयद रेफात अहमद के बारे में जानें

बांग्लादेशी वकील और न्यायविद सैयद रेफात अहमद पहले हाई कोर्ट प्रभाग और सर्वोच्च न्यायालय के अपीलीय प्रभाग में काम करते थे। उनका जन्म 28 दिसंबर 1958 को हुआ था। सैयद रेफात अहमद ने ढाका विश्वविद्यालय से विधि स्नातक की डिग्री पूरी की और 1983 में ऑक्सफोर्ड विश्वविद्यालय के वाधम कॉलेज से न्यायशास्त्र में कला स्नातक और स्नातकोत्तर की डिग्री भी हासिल की।

उन्होंने टफ्ट्स विश्वविद्यालय के फ्लेचर स्कूल ऑफ लॉ एंड डिप्लोमेसी से स्नातकोत्तर और पीएचडी भी पूरी की है। सैयद रेफात अहमद 1984 में जिला न्यायालयों के वकील बने और बाद में, 1986 में उच्च न्यायालय प्रभाग के वकील बने। उन्होंने हांगकांग और वाशिंगटन में शरणार्थियों के लिए संयुक्त राष्ट्र उच्चायुक्त में भी काम किया है।

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