Up Kiran, Digital Desk: शहरों में रहने वाले कामकाजी लोग अक्सर विटामिन डी की कमी से जूझते हैं। यह पोषक तत्व कैल्शियम तथा फॉस्फोरस को शरीर में सोखने का काम करता है जिससे हड्डियां स्वस्थ रहती हैं। सूर्य की रोशनी इसकी प्राप्ति का मुख्य माध्यम है क्योंकि त्वचा पर पड़ने वाली किरणें इसे उत्पन्न करती हैं। सर्दी के दिनों में कुछ लोग छत पर समय बिताते हैं या पार्क घूमते हैं लेकिन व्यस्त दिनचर्या वाले कई व्यक्ति पर्याप्त सूरज नहीं देख पाते।
ऑफिस की लंबी ड्यूटी घरेलू जिम्मेदारियां ऊंची बिल्डिंगों की परछाई या वायु प्रदूषण जैसी वजहें धूप से दूर रखती हैं। नतीजा शरीर में कमजोरी थकावट हड्डियों की पीड़ा और रोग प्रतिरोधक क्षमता का गिरना शुरू हो जाता है। अगर आप भी आधुनिक जीवनशैली की वजह से सूरज से वंचित हैं और विटामिन डी बढ़ाना चाहते हैं तो यहां बताए गए तरीके मदद करेंगे। विशेषज्ञ सुझावों पर आधारित ये विकल्प शहरवासियों के लिए खासतौर पर उपयोगी हैं।
विशेषज्ञ क्या सलाह देती हैं
जयपुर की आयुर्वेद विशेषज्ञ किरण गुप्ता बताती हैं कि सूरज की कमी अब शहरी जीवन की सामान्य चुनौती है लेकिन स्मार्ट चुनाव और संतुलित भोजन से इसे संभाला जा सकता है। आगे हम ऐसे खाद्य स्रोतों पर चर्चा करेंगे जो इस समस्या का समाधान प्रदान करते हैं।
विटामिन डी कैसे बढ़ाएं
पोषक युक्त भोजन अपनाएं
जब सूरज उपलब्ध न हो तो आहार में ऐसे उत्पाद चुनें जिनमें विटामिन डी मिलाया गया हो। विकल्पों में मजबूत दही संतरे का रस या अनाज शामिल हैं। ये चीजें शरीर को आवश्यक पोषण देती हैं।
वसायुक्त मछली का सेवन
नॉन-वेज प्रेमी लोगों के लिए वसायुक्त मछली शानदार चुनाव है। सैल्मन सार्डिन या मैकेरल जैसी मछलियां प्राकृतिक रूप से विटामिन डी से भरपूर होती हैं। सप्ताह में दो से तीन बार इन्हें खाने से कमी काफी हद तक दूर हो सकती है।
अंडे का पीला भाग
अंडे का योल्क विटामिन डी का अच्छा स्रोत है। सर्दियों में यह शरीर को गर्मी भी प्रदान करता है। रोज एक अंडा लेने से पोषण स्तर सुधरता है।
मशरूम का उपयोग
शाकाहारी विकल्प के रूप में मशरूम प्रभावी हैं। ये पराबैंगनी किरणों में विकसित होकर स्वाभाविक विटामिन डी पैदा करते हैं। इन्हें भोजन में जोड़ना फायदेमंद साबित होता है।
पूरक दवाएं लें
आम तौर पर पूरक की अनुशंसा नहीं की जाती लेकिन चिकित्सक से सलाह लेकर विटामिन डी सप्लीमेंट चुन सकते हैं। बिना परामर्श के इन्हें लेना जोखिम भरा होता है।
घरेलू रोशनी बढ़ाएं
अगर बाहर जाना संभव न हो तो घर में प्रकाश व्यवस्था सुधारें। खिड़कियां खुली रखें और बालकनी पर जहां हल्की धूप पहुंचे वहां समय बिताएं। थोड़ी सी रोशनी भी त्वचा को विटामिन डी बनाने में सहायक होती है।
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