
Up Kiran, Digital Desk: भारतीय क्रिकेट में युवा खिलाड़ियों की अगली पीढ़ी लगातार उभर रही है, और इनमें एक नाम जिस पर क्रिकेट विशेषज्ञों और प्रशंसकों की नज़रें टिकी हैं, वह हैं साईं सुदर्शन। हालिया प्रदर्शनों के बाद, उन्हें भारतीय क्रिकेट टीम के तीनों फॉर्मेट - यानी टेस्ट, वनडे और टी20 - के भविष्य के तौर पर देखा जा रहा है।
किसी खिलाड़ी का सिर्फ एक या दो नहीं, बल्कि तीनों अलग-अलग फॉर्मेट में सफल होने की क्षमता रखना उसकी प्रतिभा और बहुमुखी प्रतिभा (versatility) का एक बड़ा संकेत होता है। लाल गेंद के खेल (टेस्ट) के लिए धैर्य और तकनीक, और सफेद गेंद के खेल (वनडे और टी20) के लिए आक्रामकता और तेज़ गति से रन बनाने की क्षमता का मिश्रण बहुत कम खिलाड़ियों में देखने को मिलता है।
साईं सुदर्शन के हाल के मैचों में दिखाए गए प्रदर्शन ने यह उम्मीद जगाई है कि उनमें यह क्षमताओं का मिश्रण मौजूद है। यही कारण है कि उन्हें केवल एक फॉर्मेट का विशेषज्ञ मानने के बजाय, भारतीय क्रिकेट के समग्र भविष्य के रूप में देखा जा रहा है।
अगर वे लगातार अपने प्रदर्शन में सुधार करते रहें और इस लय को बनाए रखें, तो वे निश्चित रूप से भविष्य में भारतीय क्रिकेट टीम के लिए एक अहम खिलाड़ी साबित हो सकते हैं, जो तीनों फॉर्मेट में योगदान देने की क्षमता रखता हो।
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