
Up Kiran, Digital Desk: संसद का मानसून सत्र शुरू हुए कुछ ही दिन हुए हैं, लेकिन लोकसभा में लगातार हंगामे और कार्यवाही के बार-बार स्थगित होने से कामकाज बुरी तरह प्रभावित हो रहा था। विपक्षी दलों के विरोध और विभिन्न मुद्दों पर सरकार के साथ जारी गतिरोध के चलते सदन की कार्यवाही को चलाना मुश्किल हो गया था।
इस गतिरोध को तोड़ने और सदन की कार्यवाही को सुचारु बनाने के लिए लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने एक महत्वपूर्ण पहल की है। उन्होंने शुक्रवार, 25 जुलाई को विभिन्न राजनीतिक दलों के सदन के नेताओं के साथ एक बैठक की। इस बैठक का मुख्य उद्देश्य सदन में जारी गतिरोध को समाप्त करना और यह सुनिश्चित करना था कि सोमवार से लोकसभा का कामकाज बिना किसी रुकावट के चल सके।
बैठक में कांग्रेस, डीएमके, तृणमूल कांग्रेस (TMC), बीजू जनता दल (BJD), तेलुगु देशम पार्टी (TDP) और भारतीय जनता पार्टी (BJP) सहित कई प्रमुख दलों के नेताओं ने हिस्सा लिया। स्पीकर ओम बिरला ने सभी नेताओं से रचनात्मक सहयोग का आग्रह किया। उन्होंने कहा कि सदन जनता के मुद्दों को उठाने, महत्वपूर्ण विधायी कार्यों पर चर्चा करने और देश की नीतियों को आकार देने का सबसे महत्वपूर्ण मंच है, न कि हंगामे और व्यवधान का।
बिरला ने आश्वासन दिया कि वे सभी सदस्यों को अपनी बात रखने और मुद्दों को उठाने का पूरा अवसर देंगे, बशर्ते वे संसदीय मर्यादा और नियमों का पालन करें। उन्होंने जोर दिया कि सदन में बहस और चर्चा होनी चाहिए, न कि गतिरोध।
बैठक के बाद, यह उम्मीद जताई जा रही है कि सोमवार से लोकसभा की कार्यवाही अधिक शांतिपूर्ण और व्यवस्थित तरीके से चलेगी। सभी दलों ने स्पीकर को सदन को सुचारु रूप से चलाने में सहयोग करने का आश्वासन दिया है। यह एक सकारात्मक संकेत है जो दर्शाता है कि दलगत राजनीति से ऊपर उठकर, सभी महत्वपूर्ण विधायी कार्यों को पूरा करने की दिशा में मिलकर काम करने को तैयार हैं।
संसद के सुचारु संचालन से ही देश के महत्वपूर्ण मुद्दों पर बहस हो सकेगी, जनहित के विधेयक पारित हो पाएंगे और सरकार भी अपनी जिम्मेदारियों को ठीक से निभा पाएगी। उम्मीद है कि स्पीकर बिरला की यह पहल रंग लाएगी और मानसून सत्र में बाकी बचे दिनों में महत्वपूर्ण कामकाज हो पाएगा।
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