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Up Kiran, Digital Desk: ईरान पर इजरायल के हमले की चर्चा पूरी दुनिया में हो रही है। इस हवाई हमले में इजरायल ने ईरान के परमाणु हथियार स्थलों, मिसाइलों और सैन्य ठिकानों पर हमला करने के लिए शुक्रवार को 'ऑपरेशन राइजिंग लॉयन' शुरू किया। इस हमले में कई ईरानी सैन्य कमांडर और वैज्ञानिक मारे गए हैं। इस पर टिप्पणी करते हुए, "हमने एक बहुत ही सफल प्रारंभिक हमला किया है। ईश्वर की मदद से हम कई और मील के पत्थर हासिल करेंगे।" यह बात इजरायल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने कही।

इजराइल और ईरान के बीच युद्ध शुरू होने के बाद दुनिया के कई देशों की प्रतिक्रियाएं सामने आई हैं। इनमें से कुछ देशों ने इजराइल का समर्थन किया है तो कुछ ने ईरान का। जबकि कुछ देशों ने तटस्थ रुख अपनाया है। इजराइल का समर्थन करने वाले देशों में अमेरिका, ब्रिटेन, फ्रांस, जर्मनी, स्वीडन, चेक गणराज्य, ऑस्ट्रेलिया, न्यूजीलैंड शामिल हैं। वहीं, रूस, चीन, मिस्र, तुर्की, पाकिस्तान, इंडोनेशिया, इराक, ओमान, सऊदी अरब, कतर, संयुक्त अरब अमीरात, लेबनान, हौथी, हमास, अफगानिस्तान आदि ने इजराइल के खिलाफ ईरान का समर्थन किया है। दोनों देशों से संघर्ष कम करने का आह्वान करने वालों में संयुक्त राष्ट्र, भारत, जापान, आयरलैंड, अफ्रीकी संघ, यूरोपीय संघ, इटली शामिल हैं।

जॉर्डन ने ईरानी ड्रोन को मार गिराया

इजराइल द्वारा ईरान के परमाणु स्थलों पर हमला करने के बाद दोनों देशों में तनाव अपने चरम पर पहुंच गया है। इसके बाद ईरान ने इजराइल पर ड्रोन हमलों से जवाबी कार्रवाई की। हालांकि, ईरान द्वारा किए गए सभी ड्रोन हमलों को इजराइल और जॉर्डन की सेनाओं ने सफलतापूर्वक विफल कर दिया। इजराइली सेना ईरानी ड्रोन को नाकाम करने के लिए जॉर्डन से खास मदद मिल रही है। 

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