पाकिस्तान सरकार और ISI से मिली थी ब्रिटिश सांसद, सरकार ने हवाई अड्डे से भेज दिया वापस

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ननई दिल्ली॥ मोदी सरकार द्वारा कश्मीर में अनुच्छेद 370 ते अधिकतर प्रावधानों को खत्म करने के बाद से यहां के हालातों तो लेकर पाकिस्तान के पेट में बेवजह ही बल पड़ रहे हैं। उधर, केंद्र सरकार ने यूनाइटेड किंगडम (यूके) की लेबर पार्टी की सांसद डेबी अब्राहम्स का ई-वीजा रद्द करते हुए उन्हें दिल्ली एयरपोर्ट से दुबई डिपोर्ट कर दिया था।

डेबी कश्मीर पर एक ब्रिटिश पार्ल्यामेंट्री ग्रुप का संचालन करती हैं जिसके ज्यादातर सदस्य पाकिस्तान या पाक अधिकृत कश्मीर(POK) मूल के हैं और ये सभी हिंदुस्तान विरोधी हैं। ऑल पार्टी पार्ल्यामेंट्री कश्मीर ग्रुप (एपीपीकेजी) कश्मीर में हिंदुस्तान की शासन-व्यवस्था की लगातार आलोचना करता रहा है। यह ग्रुप ‘बातचीत के जरिए कश्मीरियों के आत्म निर्णय के अधिकार को समर्थन देने’ और ‘कश्मीर में मानवाधिकार हनन की घटनाओं को उजागर करने के साथ-साथ लोगों को न्याय दिलाने की मुहिम छेड़ने’ का दावा करता है।

बड़ी बात है कि इस ग्रुप का एक भी सदस्य हिंदुस्तानी मूल का नहीं है। डेबी अब्राहम्स इस ग्रुप की चेयरमैन हैं और यूके की संसद में ऑल्डम ईस्ट एंड सैडलवर्थ संसदीय क्षेत्र का प्रतिनिधित्व करती हैं जहां पाकिस्तानी मीरपुरी समुदाय के लोगों की बड़ी तादाद है। नवंबर 2019 में ग्रुप मेंबरशिप रजिस्टर को अपडेट किया गया था जिसके अनुसार, इस ग्रुप के सीनियर वाइस-चेयर लेबर सांसद इमरान हुसैन हैं।

ब्रैडफोर्ड से सांसद इमरान पाकिस्तान मूल के हैं जो सालों से हिंदुस्तान के विरूद्ध आग उगल रहे हैं। उन्होंने पिछले साल सितंबर महीने में POK और नियंत्रण रेखा (एलओसी) का दौरा किया था और पाकिस्तानी सेना के अधिकारियों से बातचीत करने का दावा किया था। उन्होंने ब्रिटेन के एक स्थानीय अखबार में दावा किया था कि कश्मीर में जो हो रहा है, वह एक ‘वॉर क्राइम (युद्ध अपराध)’ है।

POK के मीरपुर में जन्मे हुए लॉर्ड नजीर अहमद इस पार्ल्यामेंट्री ग्रुप के ऑनरेरी प्रेजिडेंट हैं। ये 15 अगस्त, 2019 को लंदन स्थित हिंदुस्तानीय उच्चायोग के सामने हुए ब्रिटिश पाकिस्तानियों के विरोध प्रदर्शन के मुख्य वक्ताओं में शामिल थे। यह प्रदर्शन हिंसक हो गया था और उच्चायोग की बिल्डिंग को नुकसान पहुंचाया गया था। एपीपीकेजी के ऑनरेरी वाइस-प्रेजिडेंट अफजल खान भी पाकिस्तान में पैदा हुए हैं।

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वो मैनचस्टर गॉर्टन से लेबर पार्टी के सांसद चुने गए हैं। अफजल खान ने 5 अगस्त, 2019 को पत्र लिखकर यूके के प्रधानमंत्री बॉरिस जॉनसन से मांग की थी कि वो ‘हिंदुस्तान सरकार की कार्रवाइयों और कश्मीर के अधिग्रहण के लिए आर्टिकल 370 को अवैध एवं असंवैधानिक तरीके से निष्प्रभावी बनाने के फैसले की कड़ी आलोचना करें।’ इस ग्रुप के सेक्रटरी POK के कोटली में पैदा हुए लॉर्ड हुसैन हैं। लिबरल डेमोक्रेटिक पार्टी के नेता हुसैन जम्मू-कश्मीर को लेकर हिंदुस्तान की अक्सर निंदा करते रहते हैं।

वहीं, सीनियर वाइस-चेयर जैक ब्रेर्टन स्टोक-ऑन-ट्रेंट से कंजर्वेटिव पार्टी के सांसद हैं। 8 अगस्त, 2019 को ब्रेर्टन ने ब्रिटेने के विदेश मंत्री डोमिनिक राब को पत्र लिखकर कहा था कि आर्टिकल 370 को निष्प्रभावी बनाने से ‘खतरनाक परिस्थिति पैदा हो गई है और इससे तनाव बढ़ेगा।’ लंदन में हिंदुस्तानीय कूटनीतिक सूत्रों ने कहा, ‘एपीपीकेजी जिस तरह के समारोह आयोजित करता रहता है, इन आयोजनों में पाकिस्तान के जिन अराजक तत्वों को न्योता देता है और जिस तरह के मुद्दों का यह समर्थन करता है, उससे हमें इनकी ऐसी सदस्यता पर कोई हैरानी नहीं होती है।’

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