जयपुर।। राजस्थान के मुख्यमंत्री और कांग्रेस के वरिष्ठ नेता अशोक गहलोत ने कहा कि राहुल गांधी को पार्टी अध्यक्ष बनना चाहिए। पिछले तीन दशकों से गांधी परिवार से कोई भी पीएम या मंत्री नहीं बना। यह समझना जरुरी है, कि गांधी परिवार कांग्रेस की एकता के लिए महत्वपूर्ण है।
गहलोत ने कहा कि चुनाव में हार-जीत होती है, एक समय BJP ने 542 में से केवल दो सीटें जीती थी। लोग गुमराह हो रहे हैं, क्योंकि ये (BJP) धर्म की राजनीति करती हैं, आज नहीं तब कल ये बात देशवासियों को जरूर समझ आएगा।
इंदिरा गांधी ने अपनी जान दे दी, किंतु खालिस्तान नहीं बनने दिया। गहलोत ने कहा कि हमारा रास्ता एकता, अखंडता का है और एक रास्ता इनका (BJP) है धर्म और ध्रुवीकरण का। पीएम और केजरीवाल एक जैसा बोलते हैं। ये आग लगाना काफी आसान काम होता है, किंतु उस आग को बुझाना काफी मुश्किल है। राहुल गांधी को अध्यक्ष बनना चाहिए, पार्टी एकजुट रहेगी।
गहलोत ने कहा कि ध्रुवीकरण की राजनीति आसान है। BJP ने सोशल मीडिया पर कांग्रेस को मुस्लिम पार्टी के रूप में प्रचारित किया। हमारा तरीका देश की अखंडता और एकता को बनाए रखना है। चुनाव के दौरान धर्म सबसे आगे आता है, जबकि महंगाई और नौकरियों के मुद्दे BJP के लिए पिछड़ जाते हैं। गहलोत के मुताबिक, 2017 में कांग्रेस एकजुट हुई और हम जीत गए। चन्नी के सीएम बनने के बाद माहौल भी अनुकूल था, किंतु यह हमारी गलती थी कि आंतरिक संघर्ष के कारण हम पंजाब में विधानसभा चुनाव हार गए।
आपको बता दें कि पांच राज्यों के चुनाव में हार से कांग्रेस के गहराए संकट और संगठन में बदलाव की दोबारा उठी आवाज के बीच सोनिया गांधी ने रविवार को पार्टी कार्यसमिति की बैठक हुई। इसमें हार की समीक्षा करने के साथ मौजूदा संकट से उबरने के उपायों पर चर्चा हुई। कांग्रेस के सिकुड़ते आधार से बेचैन पार्टी के असंतुष्ट नेताओं का समूह जी 23 इस बैठक में नेतृत्व की कमजोरियों को लेकर उस घेरा।