गुरुवार के दिन करें यह एक काम, घर में आएगी खुशियां, नहीं होगी घनों की कमी

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गुरुवार का दिन भगवान विष्णु को समर्पित है। गुरुवार के दिन विधि-विधान से केले के पेड़ की पूजा करने वाले लोगों पर भगवान विष्णु बहुत प्रसन्न होते हैं और अपने भक्तों को सुख, समृद्धि और शांति का आशीर्वाद देते हैं।

केले के पेड़ को शुभता और समृद्धि का प्रतीक माना जाता है। इसके अलावा गुरुवार के दिन केले के पेड़ की पूजा करने से बृहस्पति ग्रह मजबूत होता है और ऐसे लोगों के विवाह में कोई बाधा नहीं आती है। उन्हें एक अच्छा जीवन साथी मिलता है और उनकी सभी मनोकामनाएं पूरी होती हैं। घर में आर्थिक समृद्धि भी आती है।

जीवन में कई प्रकार की समस्याएं होती हैं, जिनका समाधान हम चाहकर भी नहीं कर पाते हैं। कुछ सामान्य समस्याएं हैं जैसे कड़ी मेहनत और कड़ी मेहनत का फल ठीक से न मिलना। मान्यता के अनुसार अगर कुंडली में गुरु खराब हो तो व्यक्ति अपने जीवन में कभी भी तरक्की नहीं कर पाता है। बृहस्पति को धन, वैवाहिक जीवन और संतान का कारक भी माना जाता है।

यदि आप विवाह, संपत्ति और संतान से संबंधित समस्याओं का सामना कर रहे हैं, बाधाएं आ रही हैं या वैवाहिक जीवन में कोई समस्या आ रही है तो घबराने की जरूरत नहीं है। आपको बस गुरुवार के दिन कुछ आसान से उपाय करने हैं। ज्योतिषियों के अनुसार ऐसा ग्रहों और नक्षत्रों की दिशा के कारण होता है और गुरुवार के दिन कुछ उपाय करने से ये दूर भी हो जाते हैं।

दरअसल आज गुरुवार है और गुरुवार को केले के पेड़ की पूजा का शास्त्रों में विशेष महत्व है. इतना ही नहीं केले के पत्तों को भी शुभ माना जाता है और धार्मिक शास्त्रों में इनकी पूजा करना लाभकारी माना गया है। धार्मिक मान्यताओं के अनुसार केले के पेड़ में असली देवगुरु बृहस्पति का वास होता है और गुरुवार का दिन भगवान बृहस्पति यानी भगवान विष्णु का होता है।

इतना ही नहीं गुरुवार के दिन केले के पेड़ की पूजा करने वाले व्यक्ति के परिवार की आर्थिक स्थिति भी मजबूत होती है और परिवार में खुशियां भी आती हैं. ऐसे में अगर आप गुरुवार के दिन केले के पेड़ की पूजा करते हैं तो आप पर गुरुदेव की कृपा बनी रहेगी.

गुरुवार का व्रत रखें, जिसमें पीले वस्त्र धारण करने और बिना नमक का पीला भोजन करने का संकल्प लें। पीले कपड़े पर गुरु बृहस्पति की मूर्ति या चित्र रखने के बाद पंचोपचार पूजा में पीले व्यंजन या फल, केसर चंदन, पीले अक्षत, पीले फूल और भोग अर्पित करें.

गुरुवार के दिन ऐसे करें केले के पेड़ की पूजा

प्रात:काल मौन व्रत का पालन कर स्नान कर लें। इसके बाद केले के पेड़ पर जल चढ़ाएं।

इस बात का ध्यान रखें कि अगर घर के आंगन में केले का पेड़ लगा हो तो उसमें जल न चढ़ाएं। बाहर केले के पेड़ पर जल चढ़ाएं।

केले के पेड़ पर केले के पेड़ पर हल्दी, चना दाल और गुड़ चढ़ाएं।

अक्षत, फूल आदि चढ़ाएं और केले के पेड़ की परिक्रमा करें।

इस मंत्र का जाप करें…

ॐ बृं बृहस्पते नम:

बृहस्पति मंगल मंत्र-

जीवश्चाङ्गिर-गोत्रतोत्तरमुखो दीर्घोत्तरा संस्थित:

पीतोश्वत्थ-समिद्ध-सिन्धुजनिश्चापो थ मीनाधिप:।

सूर्येन्दु-क्षितिज-प्रियो बुध-सितौ शत्रूसमाश्चापरे

सप्ताङ्कद्विभव: शुभ: सुरुगुरु: कुर्यात् सदा मङ्गलम्।।

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