Ghulam Nabi Azad ने राजनीति से संन्यास लेने के दिए संकेत, कांग्रेस सहित हर पार्टी पर साधा निशाना

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श्रीनगर, 21 मार्च। कांग्रेस के वरिष्ठ नेता गुलाम नबी आजाद (Ghulam Nabi Azad) ने कहा कि उन्हें वास्तविक परिवर्तन लाने के लिए राजनीतिक दलों की क्षमता को लेकर गंभीर आपत्ति है। उन्होंने कहा कि इस कठिन समय में नागरिक समाज की महत्वपूर्ण भूमिका है। उन्होंने अपने संबोधन में सक्रिय राजनीति से संन्यास लेने के संकेत भी दिए। गुलाम नबी आजाद ने कहा अब अक्सर मेरा मन राजनीति से संन्यास लेकर समाज सेवा में सक्रिय होने का करता है।

Ghulam Nabi Azad

आपको बता दें कि जम्मू में एक कार्यक्रम के दौरान नागरिक समाज के सदस्यों को संबोधित करते हुए, आजाद (Ghulam Nabi Azad)  ने कहा कि हमको समाज में एक बदलाव लाना है। कभी कभी मैं सोचता हूं और यह कोई बड़ी बात नहीं होगी कि अचानक आप लोगों को पता चले कि मैं सक्रिय राजनीति से रिटायर हो गया और समाज सेवा के कार्य में जुट गया हूं।

कांग्रेस सहित किसी भी पार्टी को माफ नहीं कर रहा

वहीँ बताते चले कि जम्मू-कश्मीर उच्च न्यायालय बार एसोसिएशन के अध्यक्ष और वरिष्ठ अधिवक्ता एमके भारद्वाज द्वारा आयोजित कार्यक्रम में अपने 35 मिनट के संबोधन की शुरुआत में ही आजाद ने स्पष्ट कर दिया कि वह इस मंच पर कोई राजनीतिक चर्चा नहीं करेंगे। उन्होंने कहा भारत में राजनीति इतनी बदसूरत हो गई है कि कभी-कभी संदेह होता है कि हम इंसान हैं भी या नहीं।

आज़ाद ने आगे कहा हम सब अगर एक शहर को, एक प्रांत को ठीक करेंगे, तो पूरा हिंदुस्तान ठीक होगा। उन्होंने कहा कि मैं अपने आप को अपनी व्यक्तिगत क्षमता में, एक इंसान की क्षमता में उस असली काम के लिए, सेवा के लिए, इंसान के लिए, समर्पित करता हूं। जब भी आप चाहेंगे, मेरे को आप अपने साथ पाएंगे।

गुलाम नबी आजाद (Ghulam Nabi Azad) ने कहा कि राजनीतिक दल धर्म, जाति और अन्य चीजों के आधार पर लोगों के बीच 24×7 विभाजन पैदा करते हैं। मैं कांग्रेस सहित किसी भी पार्टी को माफ नहीं कर रहा। नागरिक समाज को एक साथ रहना चाहिए। जाति, धर्म को देखे बगैर सभी को न्याय दिया जाना चाहिए। महात्मा गांधी सबसे बड़े हिंदू और धर्मनिरपेक्ष थे. जम्मू-कश्मीर में जो हुआ उसके लिए पाकिस्तान और उग्रवाद जिम्मेदार हैं। इसने जम्मू-कश्मीर में हिंदुओं, कश्मीरी पंडितों, मुसलमानों, डोगराओं सहित सभी को प्रभावित किया है।

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