इस मामले में चीन से आगे निकला भारत, जानें गर्व करेंगे

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हिंदुस्तान ने इस साल यूनिकॉर्न की दौड़ में चीन को पछाड़ दिया है। सन् 2021 में इंडिया में 33 यूनिकॉर्न बनी जबकि चीन में यूनिकॉर्न की तादाद महज 19 रही है।

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सन् 2020 में हिंदुस्तान में 17 यूनिकॉर्न बने थे जबकि चीन में इनकी संख्या 16 रही थी। बीते कई दिनों से डिजिटल और टेक कंपनियों पर चीन सरकार की बढ़ती सख्ती की वजह से ऐसा देखने में आ रहा है। सन् 2019 में हिंदुस्तान में महज 8 यूनिकॉर्न बनी थी जबकि चीन में इनकी संख्या 31 थी। इसी तरह यदि चर्चा सन् 2018 की करें तो हिंदुस्तान में केवल पांच यूनिकॉर्न बने थे जबकि चीन में इनकी संख्या 33 थी।

इन देशों को छोड़ा पीछे

यदि बात यूनिकॉर्न की करें तो हिंदुस्तान कई विकसित मुल्कों से आगे निकल चुका है। चीन, ब्रिटेन और कनाडा की तुलना में हिंदुस्तान में कैलेंडर ईयर 2021 की तीसरी तिमाही में यूनिकॉर्न की संख्या विकसित देशों को भी पार कर गई है।

जानें यूनिकॉर्न के बारे में

यूनिकॉर्न का अर्थ है- ऐसे स्टार्टअप से है जिसका वैल्यूएशन कम से कम $एक अरब हो। चालू कैलेंडर वर्ष की तीसरी तिमाही में हिंदुस्तान ने 10 यूनिकॉर्न जोड़े हैं। इस अवधि में चीन और हांगकांग में सात, अमेरिका और कनाडा में चार यूनिकॉर्न जुड़े हैं। इस हिसाब से संकेत मिलते हैं कि हिंदुस्तान में निवेश गतिविधियों में तेजी से वृद्धि हो रही है।

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