Jyotish tips: अक्षय तृतीया पर सोना-चांदी खरीदना बहुत शुभ माना जाता है? यहां जानिए शुभ मुहूर्त

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नई दिल्ली। अक्षय तृतीया प्रतिवर्ष वैशाख मास के शुक्ल पक्ष की तृतीया तिथि को मनाई जाती है। इस साल अक्षय तृतीया 03 मई को है। अक्षय तृतीया का अर्थ है कि जिस तृतीया तिथि का क्षय नहीं होता है, अर्थात इस दिन प्राप्त होने वाले फल, धन आदि का क्षय नहीं होता है। इस दिन जो कुछ भी मिलेगा वह खत्म नहीं होगा, अटूट रहेगा, कम नहीं होगा। जानिए काशी के ज्योतिषी से अक्षय तृतीया पर सोना-चांदी खरीदने के महत्व और मुहूर्त के बारे में।

अक्षय तृतीया पर सोने-चांदी की खरीदारी
अक्षय तृतीया का विशेष धार्मिक महत्व है। इसी तिथि को ब्रह्मा देव के पुत्र अक्षय कुमार का जन्म हुआ था, इसलिए वैशाख शुक्ल तृतीया तिथि को अक्षय तृतीया कहा जाता है। इस तिथि को गंगा अवतार और परशुराम जयंती भी मनाई जाती है। इस दिन भगवान विष्णु की पूजा की जाती है, जो सुख-समृद्धि प्रदान करते हैं। अक्षय तृतीया पर खरीदे गए आभूषण, सोना, चांदी आदि अक्षय रहते हैं। मां लक्ष्मी की कृपा से प्राप्त धन स्थिर रहता है, इसमें किसी प्रकार की कमी नहीं होती है। इसे वह खुद बढ़ा रही हैं।

इस कारण अक्षय तृतीया पर सोना, चांदी खरीदना शुभ और समृद्ध माना जाता है, इसलिए हर साल अक्षय तृतीया के अवसर पर लोग सोना, चांदी, भवन, वाहन, प्लॉट, फ्लैट या अन्य संपत्तियां खरीदते हैं, ताकि उनकी अक्षय तृतीया में वृद्धि हो। धन और संपत्ति।

अक्षय तृतीया 2022 पूजा मुहूर्त
पंचांग के अनुसार वैशाख मास के शुक्ल पक्ष की तृतीया तिथि 03 मई मंगलवार को प्रातः 05:18 से प्रारंभ हो रही है जो कि 04 मई को प्रातः 07:32 तक मान्य है। यदि इस दिन आपको भगवान विष्णु की पूजा करनी है, तो शुभ मुहूर्त प्रातः 05:39 से दोपहर 12:18 तक है।

अक्षय तृतीया 2022 शॉपिंग मुहूर्त
अक्षय तृतीया एक ऐसा दिन है कि आप मुहूर्त पर विचार किए बिना खरीदारी या कोई भी शुभ कार्य कर सकते हैं क्योंकि पूरा दिन अबूझ मुहूर्त होता है। इस दिन आप शादी कर सकते हैं, सगाई कर सकते हैं और किसी भी समय सोना, चांदी, आभूषण, घर, वाहन या अन्य संपत्ति खरीद सकते हैं।

अक्षय तृतीया का महत्व
पद्म पुराण में भगवान विष्णु देवर्षि नारद से कहते हैं कि अक्षय तृतीया के दिन प्राणी मृत्युलोक में जो भी कार्य करेगा वह अक्षय होगा, अर्थात कर्मों और भावनाओं के अनुसार फल प्राप्त होगा। इसलिए हे देवी! मनुष्य को इस दिन कुकर्मों और मिथ्या वाणी से दूर रहना चाहिए।

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