img

केदारनाथ यात्रा का मुख्य पड़ाव गौरीकुंड में फिर से अतिक्रमण होने लगा है। जैसे ही यात्रा फिर से स्पीड पकड़ रही है, मंदाकिनी नदी के किनारे दुकानें लगना शुरू हो गया है।

बीते दिनों गौरीकुंड में ही अतिक्रमण कर लगाई गई दुकान पर पहाड़ी से भारी भरकम पत्थर गिरे थे। दुकानों के ऊपर मलबा आ गया था और 30 लोग लापता हो गए थे। मगर इतनी बड़ी वारदात के बाद भी यहां लोगों को भय नहीं है और अतिक्रमण कर सड़क किनारे उधर से दुकानें लगा रहे हैं।

अवगत करा दें कि केदारनाथ यात्रा के मुख्य पड़ाव गौरीकुंड से लेकर सोनप्रयाग तक केदारनाथ हाईवे बेहद संकरा है। यहां मुश्किल से एक वाहन की आवाजाही हो पाती है। यहां हर साल यात्रा सीजन के दौरान स्थानीय लोगों की ओर से हाईवे किनारे और मंदाकिनी नदी के ठीक ऊपर दुकान और ढाबे बनाए जाते हैं और उन्हें नेपाली मूल के लोगों को किराए पर दिया जाता है। जिस कारण इस मानसूनी सीजन में 23 जानें गई थीं।

हालांकि इस घटना के बाद प्रशासन ने यहां से दुकानें हटा दी थी और अतिक्रमण खाली करवा दिया था, मगर अब वहां दोबारा अतिक्रमण होने लगा है। अब एक बार फिर से गौरीकुंड और सोनप्रयाग के बीच केदारनाथ हाईवे पर दुकानें खोली जाने लगी हैं। केदारनाथ से सोनप्रयाग तक केदारनाथ हाईवे का पाँच किलोमीटर क्षेत्र बेहद ही खतरनाक है। 

--Advertisement--