रूस ने दी चेतावनी, कहा- 200 रुपए लीटर की सीमा लांघ जाएगा पेट्रोल-डीजल!

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रूस-यूक्रेन युद्ध के असर के चलते अंतरराष्ट्रीय स्तर पर कच्चे तेल (क्रूड आयल) की प्राइस 2008 के बाद उच्चतम स्तर पर पहुंच गई है और यह 300 डॉलर प्रति बैरल तक जा सकती है।

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रूस ने पश्चिमी मुल्कों को धमकी दी है कि अगर पश्चिमी मुल्कों ने रूस ने एनर्जी सप्लाई में कटौती की तो कच्चे तेल की प्राइस 300 डॉलर के पार पहुंच सकती है। साथ ही यूरोप को गैस सप्लाई करने वाली रूस-जर्मनी गैस पाइपलाइन को बंद कर दिया जाएगा।

यूएसए के विदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकन ने कहा था कि अमेरिका और यूरोपीय देश रूस से तेल के आयात पर प्रतिबंध लगाने पर विचार कर रहे हैं। इससे बाद कच्चे तेल की कीमत 2008 के बाद उच्चतम स्तर पर पहुंच गई थी। खबरों के मुताबिक रूस के डिप्टी प्राइम मिनिस्टर अलेक्सांद्र नोवाक ने कहा कि अगर अमेरिका और सहयोगी मुल्कों ने ऐसा किया तो इसके ग्लोबल मार्केट में भयानक परिणाम होंगे। इससे कच्चे तेल की कीमत 300 बैरल प्रति बैरल पहुंच सकती है।

क्या है रूस की चेतावनी

नोवाक ने कहा कि रूस के मिलने वाले तेल को रिप्लेस करने के लिए यूरोप को एक साल से ज्यादा वक्त लगेगा और उसे इसके लिए बहुत ज्यादा कीमत चुकानी होगी। उन्होंने कहा कि यूरोप के नेताओं को ईमानदारी से अपने लोगों को बताना चाहिए कि इसका उनके लोगों और उपभोक्ताओं पर क्या असर होगा। उन्होंने कहा, ‘यदि आप रूस से तेल की सप्लाई बंद करना चाहते हैं तो शौक से कीजिए। हम इसके लिए तैयार हैं। हम जानते हैं कि हमें अपने तेल को कहां बेच सकते हैं।’

रूस यूरोप को 40 फीसदी गैस की सप्लाई करता है। रूसी डिप्टी प्राइम मिनिस्टर ने साथ ही कहा कि उनका मुल्क यूरोप से किए गए वादे को निभा रहा है। किंतु हमें अपने देश के हित में कार्रवाई करने का पूरा अधिकार है। जर्मनी ने पिछले महीने नॉर्ड स्ट्रीम 2 गैस पाइपलाइन को सर्टिफिकेट देने से मना कर दिया था। नोवाक ने कहा कि उनका देश नॉर्ड स्ट्रीम 1 गैस पाइपलाइन से सप्लाई रोक सकता है।

अभी तक हमने ऐसा नहीं किया है किंतु यूरोपीय नेताओं के भड़काऊ बयानों से हम ऐसा करने के लिए मजबूर हो सकते हैं। अगर अंतरराष्ट्रीय स्तर पर कच्चे तेल की कीमत 300 डॉलर प्रति बैरल पहुंचती है तो देश में पेट्रोल-डीजल की कीमत 200 रुपये प्रति लीटर पहुंच सकती है। पिछले साल नवंबर की शुरुआत में जब पेट्रोल और डीजल की कीमतों में आखिरी बार बदलाव हुआ था तो तब कच्चे तेल की औसत कीमत 81.5 डॉलर प्रति बैरल थी। दिल्ली में अभी पेट्रोल की कीमत 95.41 रुपये और डीजल की कीमत 86.67 रुपये प्रति लीटर है।

इस वजह से बढ़ जाएंगे पेट्रोल डीजल के दाम

जानकारों के अनुसार कच्चे तेल की कीमत में एक डॉलर की बढ़ोतरी से पेट्रोल-डीजल की कीमत में 50 पैसे प्रति लीटर की बढ़ोतरी होती है। करीब 80 डॉलर प्रति बैरल के भाव पर इसकी कीमत 95 रुपए है। अगर कच्चे तेल की कीमत 300 डॉलर प्रति बैरल पहुंचती है तो देश में पेट्रोल की कीमत 200 रुपए लीटर के पार पहुंच जाएगी। कच्चे तेल की कीमत में बढ़ोतरी से ऑयल मार्केटिंग कंपनियों को भारी घाटा हो रहा है। यही वजह है कि आने वाले दिनों में पेट्रोल-डीजल की कीमत में भारी बढ़ोतरी हो सकती है।

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