नियमों को ताक पर रखकर चहेती ब्लैक लिस्टेड कम्पनी की सहयोगी एजेंसी को 30 फीसदी बिजनेस

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लखनऊ, यूपीकेएनएन। यूपी के सूचना महकमे के कारनामें भी गजब हैं। यदि उन पर आपका ध्यान जाए तो आप भी चौंक उठेंगे। हम उन क्रिएटिव की बात कर रहे हैं। जिनका सूचना विभाग की तरफ से प्रचार प्रसार में इस्तेमाल किया जाता है। महकमे में अब तक परम्परा रही है कि यह क्रिएटिव जो एजेंसी बनाती थी। उसे अकेले संबंधित क्रिएटिव वर्क से जुड़े बिजनेस का 30 फीसदी दिया जाता था। इसके उलट अब महकमे में क्रिएटिव बनाने वाली एजेंसी के बजाए एक दूसरी कम्पनी को 30 फीसदी बिजनेस अनिवार्यत: दिया जा रहा है। नियम विरूद्ध हो रहे इस काम की महकमे से जुड़ी अन्य एजेंसियों के बीच खासी चर्चा है।

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वैसे क्रेयोन्स एडवरटाइजिंग प्राइवेट लिमिटेड (Crayons Advertising Private Limited) सूचना ​महकमे में सीएम क्रिएटिव एजेंसी के तौर पर नामित है। मजे की बात यह है कि क्रिएटिव वर्क क्रेयोन्स के द्वारा किया जाता है और उसकी जगह ओमनी मीडिया कम्युनिकेशन प्राइवेट लिमिटेड (Omni Media Communication Private Limited) को उस क्रिएटिव से जुड़े बिजनेस का 30 फीसदी दिया जा रहा है। आपको बता दें कि नियमों को ताक पर रखकर चहेती एजेंसियों को बिजनेस दिए जाने का मामला पहले भी उछल चुका है। पर आला अफसरों ने उस पर गौर नहीं किया और यह सिलसिला अब तक जारी है।

राजस्थान में ब्लैकलिस्टेड एजेंसी सीएम क्रिएटिव एजेंसी नामित

वर्ष 2017 में करोड़ो रूपये के सरकारी विज्ञापन घोटाले को लेकर क्रेयोन्स एडवरटाइजिंग प्राइवेट लिमिटेड (Crayons Advertising Private Limited) को राजस्थान सरकार ने काली सूची में डाल दिया था। यूपी के जलवेदार अफसरों को यही कम्पनी सबसे भरोसेमंद लगी। प्रदेश में उसी कम्पनी का चयन सीएम क्रिएटिव एजेंसी के रूप में किया गया है।

दिवालियेपन की कगार पर पहुंची कम्पनी का मामला रफा-दफा, सीएम एजेंसी नामित

इतना ही नहीं क्रेयोन्स एडवरटाइजिंग प्राइवेट लिमिटेड दिवालिएपन की कगार पर पहुंच चुकी थी। पर उंची रसूख के दम पर एजेंसी ने प्रदेश में सीएम क्रिएटिव एजेंसी का तमगा हथिया लिया।

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