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Up Kiran, Digital Desk: राजनीतिक सुरक्षा को लेकर हमेशा से ही कई सवाल उठते रहे हैं। देश-प्रदेश में जब भी किसी वीआईपी की सुरक्षा की बात होती है तो यह एक गंभीर मुद्दा बन जाता है। खासकर जब वह वीआईपी नेता प्रदेश के CM या राज्यपाल जैसी उच्च पदस्थ शख्सियत हो। इस मामले में पुलिस महकमे और सुरक्षा एजेंसियों की चिंताएं भी बढ़ जाती हैं। बदलते वक्त और आधुनिक तकनीकों ने हालांकि इस चुनौती को कुछ हद तक कम किया है। फिर भी असल सुरक्षा खतरे पूरी तरह से खत्म नहीं हो पाए हैं।
अब इसी मामले में बिहार राज्य की सरकार ने एक अहम कदम उठाया है। बिहार में वीआईपी नेताओं की सुरक्षा को और ज्यादा मजबूत करने के लिए नई बुलेट प्रूफ गाड़ियों की खरीदारी की गई है जो बिहार के CM राज्यपाल और अन्य उच्च सरकारी अधिकारियों के काफिले का हिस्सा बनेंगी।
क्या खास है इन नई बुलेट प्रूफ गाड़ियों में
जो नई बुलेट प्रूफ गाड़ियां मंगाई जा रही हैं वे सिर्फ सामान्य गोलियों से ही नहीं बल्कि अत्यधिक खतरनाक हथियारों से भी सुरक्षित होंगी। इन गाड़ियों में AK-47 जैसी घातक गोलियों और शक्तिशाली बम ब्लास्ट से सुरक्षा का इंतजाम किया गया है। इसके अलावा गैस अटैक जैसी आपात स्थितियों से निपटने के लिए भी इन गाड़ियों में सुरक्षा उपाय मौजूद होंगे। यह सुरक्षा कवच न केवल CM और राज्यपाल के काफिले के लिए होगा बल्कि उपCM पुलिस अधिकारियों और बिहार दौरे पर आने वाले राष्ट्रपति और प्रधानमंत्री जैसे वीवीआईपी गेस्ट्स के लिए भी इस्तेमाल किया जाएगा।
इस योजना में खर्च और मंजूरी
नीतीश सरकार ने इन बुलेट प्रूफ गाड़ियों को खरीदने के लिए 15.99 करोड़ रुपए का बजट निर्धारित किया है। गृह विभाग ने इस प्रस्ताव को मंजूरी दे दी है और अब इसके कार्यान्वयन की जिम्मेदारी परिवहन विभाग को दी गई है।
CM नीतीश कुमार की सुरक्षा व्यवस्था
बिहार के CM नीतीश कुमार के काफिले में फिलहाल 50 लाख की कीमत वाली गैर-बुलेट प्रूफ हुंडई आयोनिक 5 कार का उपयोग किया जा रहा है जो पटना में काम आती है। पटना से बाहर जाने पर CM बुलेट प्रूफ टाटा सफारी का उपयोग करते हैं। अब इन नई बुलेट प्रूफ गाड़ियों के आने से CM की सुरक्षा पहले से कहीं अधिक मजबूत हो जाएगी।
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