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Up Kiran, Digital Desk: बांग्लादेश महिला क्रिकेट टीम में विवाद अब एक नई दिशा में बढ़ता नजर आ रहा है। तेज गेंदबाज जहांआरा आलम ने हाल ही में टीम की कप्तान निगार सुल्ताना पर गंभीर आरोप लगाए हैं। उनका कहना है कि कप्तान ने जूनियर खिलाड़ियों को शारीरिक रूप से प्रताड़ित किया है, जिसमें थप्पड़ मारने जैसी घटनाएं शामिल हैं।

आरोपों का क्या है सच?

जहांआरा आलम ने कहा कि यह पहला मामला नहीं है जब जूनियर खिलाड़ियों के साथ बुरा व्यवहार किया गया हो। उन्होंने बताया कि कई बार टीम के नए खिलाड़ियों ने उन्हें बताया था कि कप्तान ने उन्हें थप्पड़ मारे। यह विवाद सिर्फ वर्तमान तक सीमित नहीं है, बल्कि उन्होंने 2025 महिला विश्व कप के दौरान भी ऐसी घटनाओं का जिक्र किया है।

जहांआरा के अनुसार, बांग्लादेश क्रिकेट बोर्ड में एक 'सिस्टम की राजनीति' चल रही थी, जिससे वह खुद प्रभावित हुईं। उनका कहना है कि कुछ सीनियर खिलाड़ियों को जानबूझकर टीम से बाहर किया गया था, और इस कारण उनका दबाव बढ़ा था। 2021 में हुए पोस्ट-कोविड कैंप से बाहर किए गए सीनियर खिलाड़ियों का जिक्र करते हुए उन्होंने बताया कि तब से ही उन पर मानसिक दबाव बढ़ने लगा था।

बांग्लादेश क्रिकेट बोर्ड का खंडन

इन आरोपों पर प्रतिक्रिया देते हुए बांग्लादेश क्रिकेट बोर्ड ने उन्हें पूरी तरह से नकारा किया। बोर्ड ने कहा कि जहांआरा आलम द्वारा लगाए गए सभी आरोप पूरी तरह से मनगढ़ंत और झूठे हैं। बोर्ड के एक प्रवक्ता ने यह भी स्पष्ट किया कि जहांआरा को मानसिक समस्याओं के कारण टीम से ब्रेक लेने की सलाह दी गई थी और उन्होंने स्वेच्छा से खुद को सेंट्रल कॉन्ट्रैक्ट से बाहर कर लिया था।