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Up Kiran, Digital Desk: भारत का मेडिकल टूरिज्म (चिकित्सा पर्यटन) बाजार तेजी से बढ़ने वाला है और एक नई रिपोर्ट के अनुसार, यह 2025 में 18.2 बिलियन डॉलर से बढ़कर 2035 तक प्रभावशाली 58.2 बिलियन डॉलर तक पहुंच जाएगा। यह वृद्धि भारत की स्वास्थ्य सेवा उद्योग के लिए एक बड़ी उपलब्धि है और देश को वैश्विक चिकित्सा पर्यटन मानचित्र पर एक प्रमुख खिलाड़ी के रूप में स्थापित करेगी।

यह रिपोर्ट भारत की बढ़ती स्वास्थ्य सेवा क्षमता, लागत प्रभावी उपचार और उच्च गुणवत्ता वाली चिकित्सा सुविधाओं को दर्शाती है। दुनिया भर से लोग विभिन्न चिकित्सा प्रक्रियाओं जैसे हृदय सर्जरी, कैंसर उपचार, अंग प्रत्यारोपण, सौंदर्य उपचार और वेलनेस कार्यक्रमों के लिए भारत आ रहे हैं।

किफायती उपचार: पश्चिमी देशों की तुलना में भारत में चिकित्सा उपचार की लागत काफी कम है, जो इसे अंतरराष्ट्रीय मरीजों के लिए एक आकर्षक विकल्प बनाती है।

विश्व स्तरीय सुविधाएं: भारत में अत्याधुनिक तकनीक से लैस अस्पताल और अत्यधिक कुशल चिकित्सक मौजूद हैं, जो अंतरराष्ट्रीय मानकों के अनुरूप उपचार प्रदान करते हैं।

अंग्रेजी बोलने वाले पेशेवर: स्वास्थ्य सेवा क्षेत्र में अंग्रेजी बोलने वाले पेशेवरों की उपलब्धता विदेशी मरीजों के लिए संचार को आसान बनाती है।

पारंपरिक चिकित्सा का समावेश: आयुर्वेद, योग और प्राकृतिक चिकित्सा जैसी पारंपरिक भारतीय चिकित्सा पद्धतियों की बढ़ती लोकप्रियता भी चिकित्सा पर्यटन को बढ़ावा दे रही है।

सरकार का समर्थन: भारत सरकार भी चिकित्सा पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए सक्रिय रूप से काम कर रही है, जिसमें वीजा प्रक्रियाओं को आसान बनाना और बुनियादी ढांचे में सुधार शामिल है।

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