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Up Kiran, Digital Desk: कभी-कभी एक नेता का साहस, दूरदृष्टि और आत्मबल इतिहास की दिशा बदल देता है। भारत के पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी ऐसे ही एक नेता थे। एक रात जब भारत पर परमाणु हमले की धमकी दी गई, तो उन्होंने जो जवाब दिया, वो सिर्फ एक राजनेता का नहीं बल्कि एक सच्चे देशभक्त का था। आइए जानते हैं उस रात की कहानी और वाजपेयी जी के जीवन से जुड़ी वो बातें जो हर भारतीय को गर्व से भर देती हैं।
जब आधी रात को अमेरिका से आया कॉल
वो एक शांत रात थी। अटल बिहारी वाजपेयी सो रहे थे। अचानक आधी रात को अमेरिका से एक फोन कॉल आया। दूसरी तरफ थे अमेरिका के तत्कालीन राष्ट्रपति बिल क्लिंटन।
क्लिंटन ने चेतावनी दी कि अगर आप अपनी सेना वापस नहीं बुलाते, तो पाकिस्तान आप पर परमाणु हमला कर देगा। इस पर अटल बिहारी वाजपेयी ने बिना डरे कहा कि मैं अपनी आधी जमीन खोने को तैयार हूं, लेकिन कल पाकिस्तान दुनिया के नक्शे में सुबह का सूरज नहीं देख पाएगा। ये सिर्फ एक जवाब नहीं था। ये था भारत की संप्रभुता, आत्मनिर्भरता और गौरव का बयान।
कितनी बार प्रधानमंत्री बने अटल बिहारी वाजपेयी
भारत के लोकतांत्रिक इतिहास में अटल बिहारी वाजपेयी का नाम स्वर्ण अक्षरों में लिखा जाता है। वे तीन बार भारत के प्रधानमंत्री बने।
पहली बार: 16 मई से 1 जून 1996 (13 दिन)
दूसरी बार: 1998 से 1999
तीसरी बार: 19 मार्च 1999 से 22 मई 2004
उन्होंने कुल मिलाकर 6 साल, 2 महीने और 19 दिन भारत के प्रधानमंत्री के रूप में सेवा दी।
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