भारतीय टीम के इस घातक गेंदबाज ने चयनकर्ताओं को दी धमकी, कहा- मुझे खिलाओ वरना॰॰॰

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नई दिल्ली॥ इंडियन क्रिकेट टीम के तेज गेंदबाज उमेश यादव ने भारतीय क्रिकेट बोर्ड पर निशाना साधा है। उमेश को बेहतर प्रदर्शन के बाद भी टीम में जगह नहीं मिल रही है।

यादव ने कहा कि बीते वर्ष खेले गए चार टेस्ट मैचों में कुल 23 विकेट लेने के बाद भी उन्हें टीम में जगह नहीं मिल रही है। इनमें उनका सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन 53 रन देकर पांच विकेट का रहा। उससे भी बड़ी बात है कि इस दौरान उमेश यादव का औसत और स्ट्राइक रेट दोनों ही टीम इंडिया की तेज तिकड़ी जसप्रीत बुमराह, मो शमी और ईशांत शर्मा से कहीं अधिक बेहतर था। लेकिन बावजूद उमेश की सीमित ओवर प्रारूप के लिए अनदेखी हो रही है। उन्होंने पिछले साल केवल एक टी20 खेलने का अवसर मिला। यादव ने अब वर्कलोड मैनेजमेंट को लेकर भी गहरी नाराजगी जताई है।

उन्होंने कहा कि वर्कलोड मैनेजमेंट वास्तव में निरंतर मैच खेल रहे खिलाड़ियों के बीच संतुलन बनाने का जरिया है। मगर मेरे मामले में ये बिलकुल विपरीत है। पिछले दो साल में मैं कम से कम खेला हूं। ऐसे में मुझ पर जितना वर्कलोड होना चाहिए, उतना भी नहीं है। मैं 31 साल का हूं और अगले 4-5 साल बहुत महत्वपूर्ण हैं। यदि आप मेरे रिकॉर्ड देखें तो पिछले साल मैंने चार टेस्ट खेले, उसके पिछले साल भी इतने ही टेस्ट खेले। सफेद गेंद से मैंने बीते वर्ष महज एक ही मैच खेला।

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उमेश यादव बोले- पिछले सत्र में मुझे काउंटी टीम ग्लोसेस्टरशर से खेलने का ऑफर मिला था वे चाहते थे कि मैं उनकी तरफ से सात मैच खेलूं, लेकिन BCCI की वर्कलोड मैनेजमेंट नीति के तहत मुझे दो से तीन मैच खेलने की अनुमति ही मिली। इसलिए में नहीं खेल पाया। उमेश ने कहा कि फिलहाल उनकी जो उम्र है, उसके हिसाब से उनके लिए अधिक से अधिक गेंदबाजी करना जरूरी है।

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