विमान ताजमहल के ऊपर से क्यों नहीं उड़ता, पीछे है खास वजह

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आगरा में मौजूद ताजमहल सन् 1631 और सन् 1648 के मध्य मुगल सम्राट शाहजहां के हुक्म से अपनी पत्नी की याद में बनाया गया सफेद संगमरमर का एक बड़ा मकबरा है।

ताजमहल हिंदुस्तान में मुस्लिम कला का गहना है और विश्व की सर्वोच्च धार्मिक रूप से बेस्ट क्रिएशन में और विरासत में से एक है। इसे दुनिया के सात अजूबों में से एक कहा जाता है। जानें ताजमहल से जुड़ी कुछ अनसुनी बातें।

ताजमहल के ऊपर विमान नहीं उड़ सकता है। क्योंकि वो एक नो फ्लाई जोन है। ताजमहल को नो फ्लाई जोन इसलिए घोषित किया गया क्योंकि ये एक भौगोलिक क्षेत्र है और इन इलाकों में प्लेन का उड़ना सुरक्षित नहीं माना जाता है। ताजमहल को पूरी तरह बनकर तैयार होने में 22 साल का वक्त लगा था।

आपको बता दें कि ताजमहल बनाने की शुरुआत वर्ष 1632 में हुई थी। इसको बनाने की शुरुआत मुगल बादशाह शाहजहां ने की थी। ताजमहल का असली नाम है रोजा-ए-मुनव्वर, जिसका मतलब होता है जगमगाता हुआ मकबरा। इस मकबरे को देखने के लिए सालाना लाखों लोग आते हैं।

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