Up Kiran, Digital Desk: पाकिस्तान की राजधानी में मंगलवार को एक बड़े धमाके ने हड़कंप मचा दिया। जी-11 सेक्टर स्थित न्यायिक परिसर में हुआ शक्तिशाली सिलेंडर विस्फोट, जिसमें 12 लोगों की जान चली गई और कई अन्य गंभीर रूप से घायल हो गए। विस्फोट उस वक्त हुआ जब अदालत परिसर में भारी भीड़ और यातायात था।
स्थानीय पुलिस ने जानकारी दी कि विस्फोट के बाद घटनास्थल पर राहत और बचाव कार्य में तेजी से जुटे अधिकारियों ने पूरे इलाके को घेर लिया। दमकलकर्मी आग पर काबू पाने के लिए तुरंत मौके पर पहुंचे। अधिकारियों के मुताबिक, विस्फोट के बाद पूरे परिसर में घना धुआं फैल गया, जिससे अफरा-तफरी मच गई। प्रत्यक्षदर्शियों ने बताया कि सुरक्षाकर्मी जैसे ही लोगों को बाहर निकालने के लिए दौड़े, स्थिति और भी ज्यादा तनावपूर्ण हो गई।
पुलिस ने बताया कि विस्फोट उस वक्त हुआ जब एक कार में सिलेंडर फटने के बाद आग लग गई। कार न्यायालय परिसर की पार्किंग में खड़ी थी। प्रारंभिक जांच में यह बात सामने आई है कि यह विस्फोट एक इम्प्रोवाइज्ड डिवाइस (IED) था, जो एक खड़ी कार के भीतर रखा गया था।
पाकिस्तान में आतंकवादी हमलों में बढ़ोतरी
पाकिस्तान में हाल के महीनों में आतंकवादी हमलों में एक बार फिर बढ़ोतरी देखने को मिली है। हाल ही में, पाकिस्तान के खैबर पख्तूनख्वा प्रांत में सुरक्षा बलों के एक काफिले को निशाना बनाकर किए गए एक IED विस्फोट में 16 सुरक्षाकर्मी घायल हो गए। यह घटना सोमवार रात लोनी गांव में हुई थी, जब पाकिस्तान सेना और फ्रंटियर कोर के जवान डेरा इस्माइल खान जिले की लोनी पोस्ट से लौट रहे थे।
इसके अलावा, दक्षिणी वज़ीरिस्तान जिले के एक कैडेट कॉलेज में आत्मघाती हमलावर द्वारा किए गए हमले में छह लोग घायल हो गए। सुरक्षा अधिकारियों के अनुसार, यह हमला प्रतिबंधित तहरीक-ए-तालिबान पाकिस्तान (TTP) द्वारा किया गया था, जो पाकिस्तान में आतंकवादियों का एक प्रमुख समूह है।
आतंकी घटनाओं से पाकिस्तान में डर का माहौल
पाकिस्तान सरकार ने हाल ही में तहरीक-ए-तालिबान पाकिस्तान (TTP) को ‘फ़ितना अल-ख़वारिज’ के रूप में अधिसूचित किया था। इस संगठन का संबंध इस्लामी इतिहास के एक ऐसे समूह से है जो हिंसा में शामिल था। पाकिस्तान के विभिन्न इलाकों में, खासकर अफ़ग़ानिस्तान की सीमा से लगे क्षेत्रों में आतंकवादी हमले तेज हो गए हैं। सेना ने बताया कि खैबर पख्तूनख्वा में दो अलग-अलग मुठभेड़ों में कम से कम 20 तालिबान आतंकवादियों को मार गिराया।
पाकिस्तान में इन हमलों के बढ़ते आंकड़े सुरक्षा बलों और नागरिकों के लिए चिंता का विषय बन गए हैं। विशेष रूप से पाकिस्तान-अफ़ग़ानिस्तान सीमा के पास स्थित इलाकों में आतंकवादियों के हमले अक्सर बढ़ जाते हैं।




