Jhansi hospital fire: यूपी के झांसी स्थित एक मेडिकल कॉलेज के चाइल्ड वार्ड में लगी जानलेवा आग ने पूरे देश को हिला कर रख दिया है। इस भयानक घटना में 10 बच्चों की जान चली गई, जबकि 16 अन्य गंभीर रूप से घायल हुए हैं। प्रारंभिक रिपोर्टों के अनुसार, आग लगने का कारण शॉर्ट सर्किट बताया गया था, लेकिन एक प्रत्यक्षदर्शी के बयान ने इस मामले में एक नया मोड़ लाया है।
भगवान दास इस घटना के समय वार्ड में मौजूद थे, उन्होंने बताया कि एक नर्स ने ऑक्सीजन सिलेंडर के पाइप को जोड़ने के लिए माचिस की तीली जलाई। जैसे ही माचिस की तीली जली, पूरे वार्ड में आग लग गई। भगवान दास ने अपनी सूझबूझ से तीन से चार बच्चों को बचाया, जबकि अन्य लोगों ने भी कुछ बच्चों को सुरक्षित बाहर निकालने में मदद की।
झांसी के चीफ मेडिकल सुपरिटेंडेंट ने पुष्टि की है कि NICU वार्ड में 54 बच्चे एडमिट थे और अचानक ऑक्सीजन कंसंट्रेटर में आग लग गई, जिससे ये हादसा हुआ। झांसी डिविजन के DIG ने बताया कि आग पर पूरी तरह से काबू पा लिया गया है और जख्मी बच्चों को अन्य स्थानों पर शिफ्ट कर दिया गया है।
दास ने ये भी खुलासा किया कि आग बुझाने वाला सिलेंडर एक्सपायर हो चुका था। उन्होंने बताया कि उस सिलेंडर पर 2019 की फिलिंग डेट थी, और ये 2020 में एक्सपायर हो गया था। और तो और आग बुझाने वाले उपकरणों की स्थिति भी चिंताजनक थी, क्योंकि फायर अलार्म भी नहीं बजा। इस घटना ने अस्पताल प्रशासन की लापरवाही को उजागर किया है, जिसने सुरक्षा मानकों को नजरअंदाज किया।
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