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jharkhand news: बोकारो में महिला पुलिस की एक स्क्वाड ने सेक्टर चार पुलिस के सहयोग से 35 वर्षीय अनिता मिश्रा को एक घर के आउट हाउस में सालों से कैद रखने के बाद आजाद किया। अनिता को उसके ससुराल के लोगों ने एक छोटे से कमरे में बंद कर अमानवीय यातनाएं दी थीं, जिसके कारण उसकी शारीरिक और दिमागी स्थिति बिगड़ चुकी थी।

जब पुलिस टीम उस कमरे के पास पहुंची, तो अनिता अंधेरे में सिसक रही थी। जैसे ही पुलिस ने उसे आश्वस्त किया कि वे उसे बचाने आए हैं, उसने मदद के लिए जोर से चिल्लाना शुरू कर दिया। पुलिस ने ग्रिल का ताला खोलकर उसे बाहर निकाला और प्राथमिक उपचार के बाद थाने ले जाकर खाने-पीने दिया।

अनिता का पति, अरुण मिश्रा, जिसे मूक बधिर बताया गया है, उसको हिरासत में लिया गया है। पुलिस उसकी पूछताछ मूक बधिर तकनीक से कर रही है। प्रारंभिक जांच में पता चला है कि अनिता की शादी 2009 में हुई थी और बच्चा न होने के कारण उसके पति के परिवार ने दूसरी शादी कराई। दूसरी पत्नी से संतान प्राप्त होने के बाद अनिता को कैद कर दिया गया था।

पुलिस ने यूपी के गोरखपुर पुलिस कमिश्नर से संपर्क किया है ताकि अनिता के परिजनों को सूचना दी जा सके। इस मामले ने अमानवीयता की एक गंभीर तस्वीर पेश की है और पुलिस ने इसे लेकर सख्त कार्रवाई की है।

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