
अप्रैल की शुरुआत में बेमौसम बारिश ने जहां शहरवासियों को गर्मी से राहत दी। तो वहीं किसानों के लिए यह आफत बनकर आई। उत्तर प्रदेश, उत्तराखंड, बिहार, पंजाब और पश्चिम बंगाल जैसे राज्यों में गुरुवार और शुक्रवार की रात तेज हवाओं के साथ बारिश और ओलावृष्टि ने खेतों में तबाही मचाई। गेहूं और गन्ने की फसलों को भारी नुकसान हुआ, जिससे किसानों की चिंता बढ़ गई है। मौसम विभाग ने अगले कुछ दिनों तक गरज के साथ बिजली गिरने और तेज हवाओं की चेतावनी जारी की है।
बारिश और ओलों का कहर
मौसम विभाग के अनुसार, सहारनपुर, मुरादाबाद और हापुड़ जैसे इलाकों में 10 और 11 अप्रैल की रात बिजली गिरी और ओलावृष्टि हुई। मुरादाबाद में बिजली गिरने से एक विश्वविद्यालय के पांच छात्र घायल हो गए। पूरे उत्तर प्रदेश में तापमान में पांच डिग्री सेल्सियस तक की गिरावट दर्ज की गई। लखनऊ में अधिकतम तापमान 32.9 डिग्री सेल्सियस रहा, ये सामान्य से 4.3 डिग्री कम है। हालांकि, फतेहपुर और बांदा में तापमान 40.6 डिग्री तक पहुंच गया। मौसम विभाग ने 40-50 किमी प्रति घंटे की रफ्तार से हवाएं चलने और कुछ इलाकों में ओलावृष्टि की आशंका जताई है।
किसानों की मुश्किलें
इस बारिश ने गन्ना और गेहूं किसानों को सबसे ज्यादा प्रभावित किया है। मुजफ्फरनगर के किसान राकेश सिंह ने बताया कि ये बारिश हमारे लिए नुकसान का सबब बनी है। गन्ने की बुआई का समय है, मगर बारिश ने काम रोक दिया। अब बुआई में देरी होगी, जिससे पैदावार पर असर पड़ेगा। गेहूं की फसल को भी दोहरा नुकसान हुआ। जो फसल कट चुकी थी, वो बारिश में भीग गई, जिससे उसकी गुणवत्ता खराब होने का खतरा है। वहीं खेतों में खड़ी फसल को ओलों ने बर्बाद कर दिया। कटाई के लिए तैयार फसलों को भी नुकसान पहुंचा, जिससे कटाई में और देरी हो सकती है। किसान बारिश ना होने की दुआ कर रहे हैं।