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लखनऊ। अवैध कब्जों और निर्माणों पर अब एलडीए की नजर टेढ़ी हो गई है। इस संबंध में एलडीए उपाध्यक्ष ने गत दिवस यानी रविवार को इंजीनियरों एवं जोनल अधिकारियों के साथ एक मीटिंग की। इस बैठक में मौजूद अभी अफसरों को कहा गया है कि अब अवैध कब्जों को तोड़ने के लिए किसी तरह का नोटिस देने की आवश्यकता नहीं है। ऐसे निर्माणों को तत्काल ढहा दिया जाये।

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गौरतलब है कि एलडीए की अरबों रुपए की जमीन अवैध कब्जे का शिकार हो चुकी है। किसी जमीन पर प्रभावशाली लोगों ने अतिक्रमण कर रखा है तो कुछ पर नेताओं का कब्जा है। दबाव की वजह से प्राधिकरण इन्हें तोड़ नहीं पा रहा है। रविवार को प्राधिकरण उपाध्यक्ष अक्षय त्रिपाठी ने इस संबंध में बैठक आयोजित की थी।

इस बैठक में उन्होंने अधिकारियों से कहा की अवैध कब्जों को तोड़ने के लिए नोटिस देने की आवश्यकता नहीं है। एलडीए की जमीनों पर हुए अवैध निर्माणों को सीधे तोड़ा जा सकता है। इसके साथ ही बिना नक्शा या नक्शे के विपरीत बने मकानों और इमारतों को भी ध्वस्त किया जाये।

इसी कड़ी में जिन इमारतों के ध्वस्तीकरण का आदेश पास हो चुका है उनको तत्काल गिरा दिया जाये। इस संबंध में इंजीनियरों ने अवैध बिल्डिंग तथा कब्जों की सूची तैयार कराई है।

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