संतकबीरनगर। उत्तर प्रदेश के संत कबीर नगर जिले में एक दरोगा जी (UP POLICE) दस हजार रूपये लेते एंटी करप्शन के हत्थे चढ़ गए। इस दौरान दरोगा और एन्टी करप्शन टीम के बीच हाथापाई भी हुई। टीम ने उन्हें बल पूर्वक गाड़ी में बैठाया। इसके बाद खलीलाबाद लाते समय दरोगा के अपहरण की अफवाह से मुखलिसपुर और नाथनगर पुलिस चौकी पर टीम की गाड़ी को बैरियर लगाकर पुलिस कर्मियों ने रोक लिया। यहां भी टीम और पुलिस कर्मियों के तीखी नोकझोंक भी हुई। बाद में एंटी करप्शन की टीम की जानकारी देने पर पुलिस कर्मियों ने आरोपी दरोगा को खलीलाबाद ले जाने दिया।
जानकारी के मुताबिक जिले के धनघटा थाना क्षेत्र के करमा गांव निवासी अब्दुल्ला खान पुत्र इस्मत हुसैन का आरोप है कि दो मई को कुछ लोगों ने उसके साथ मारपीट की थी। इसके बाद फिर से चार मई को उन्हीं लोगों ने उसके घर में घुसकर फिर से मारपीट की। इस घटना की जानकारी उसने स्थानीय एसपी और डीजीपी कार्यालय (UP POLICE) को दी थी और थाने में मुकदमा भी पंजीकृत कराया था।
धनघटा थाने में तैनात दरोगा राम मिलन यादव को मुकदमे की विवेचना करने का आदेश दिया गया। अब्दुल्ला खान का कहना है कि दरोगा राम मिलन यादव आरोप पत्र दाखिल करने के नाम पर उससे बार-बार 10 हजार घूस की मांग कर रहे थे। इसी से परेशान होकर उसने आकर 21 जुुलाई को उसने एंटी करप्शन गोरखपुर कार्यालय को शिकायती पत्र दिया।
इसके बाद एंटी करप्शन की टीम ने आरोपी दरोगा (UP POLICE) को मंगलवार को धनघटा स्थित आवास पर दस हजार रुपये घूस लेते हुए रंगे हाथ पकड़ लिया। इस पूरे मामले को लेकर एंटी करप्शन टीम के इंस्पेक्टर रामधारी मिश्रा ने बताया कि पीड़ित अब्दुल्ला की शिकायत पर सबसे पहले मामले की जाँच की गयी इसके बाद डीएम संतकबीरनगर से दरोगा के खिलाफ कार्रवाई के लिए सरकारी गवाह लिया गया।
करमा निवासी पीड़ित अब्दुल्ला से दर्ज मुकदमे में चार्जशीट लगाने के नाम पर दस हजार रुपये घूस लेते दरोगा राम मिलन यादव को पकड़ा गया। 2000 रुपये के पांच नोट बरामद हुए। वहीं आरोपी दरोगा राम मिलन यादव का कहना है कि वह तौलिया और बनियान पहने अपने कमरे पर था। वह कुछ समझ पाते तब तक एंटी करप्शन की टीम ने उसे पकड़ लिया। उसे साजिश के तहत फंसाया गया है।
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