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Viral News: हमसफर एक्सप्रेस (19091) में उस वक्त अफरा-तफरी मच गई, जब एक महिला यात्री आसमा शेख ने मीरजापुर स्टेशन पहुंचने से पहले रेलगाड़ी में ही सात महीने के बच्चे को जन्म दिया। ये खुशी का पल जल्द ही मातम में बदल गया, जब डॉक्टरों ने नवजात को मृत घोषित कर दिया। मां की हालत गंभीर होने के कारण उसे तुरंत जिला महिला अस्पताल रेफर किया गया।

मंगलवार की रात मुंबई से गोरखपुर जा रही हमसफर एक्सप्रेस में सफर कर रही आसमा शेख को अचानक प्रसव पीड़ा शुरू हुई। ट्रेन के अन्य यात्रियों और स्टाफ ने मदद की कोशिश की, मगर हालात बेकाबू होने लगे। आसमा ने सात महीने के समय से पहले जन्मे बच्चे को ट्रेन में ही जन्म दिया। कंट्रोल रूम को सूचना मिलते ही ट्रेन को मीरजापुर स्टेशन पर रोका गया। स्टेशन पर मौजूद डॉक्टरों और सहायता कर्मियों की टीम ने फौरन पहुंचकर नवजात की जांच की, मगर बच्चे में कोई हरकत नहीं मिली। डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया। इस बीच, आसमा की हालत बिगड़ती जा रही थी। उनकी गंभीर स्थिति को देखते हुए उन्हें जिला महिला अस्पताल भेजा गया, जहां उनकी हालत अब स्थिर बताई जा रही है।

पति की आपबीती

आसमा के पति इस्माइल शेख मुंबई में ऑटो-रिक्शा ड्राइवर हैं। उन्होंने बताया कि वो अपनी पत्नी को गोरखपुर अपने मायके भेज रहे थे। इस्माइल ने कहा कि हमें उम्मीद थी कि सफर ठीक रहेगा, मगर ऐसा हादसा हो जाएगा ये सोचा भी नहीं था। ट्रेन में कोई डॉक्टर या मेडिकल सुविधा नहीं थी, शायद इससे मेरे बच्चे को बचाया जा सकता था। बच्चे की मृत्यु के बाद दंपति ने मृत बच्चे के साथ अंतिम संस्कार के लिए गोरखपुर की यात्रा शुरू की। उनकी आंखों में दर्द और असहायता साफ झलक रही थी।

एक यात्री रमेश यादव ने कहा कि ट्रेन में ऐसी स्थिति के लिए कोई तैयारी नहीं थी। अगर समय पर मदद मिलती, तो शायद बच्चा बच जाता।
 

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