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Up Kiran, Digital Desk: केंद्र सरकार द्वारा किसानों से न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) पर की जाने वाली गेहूं की खरीद पिछले तीन सालों में अपने उच्चतम स्तर पर पहुँच गई है। सरकारी आँकड़ों के अनुसार, चालू खरीद सीज़न में गेहूं की कुल खरीद ने पिछले दो सीज़न के रिकॉर्ड को तोड़ दिया है।

यह दर्शाता है कि सरकार द्वारा किसानों से सीधे गेहूं की खरीद में काफी वृद्धि हुई है। न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) वह दर है जिस पर सरकार किसानों से फसल खरीदती है, ताकि उन्हें बाजार के उतार-चढ़ाव से बचाया जा सके और उनकी उपज का एक सुनिश्चित मूल्य मिल सके।

इस बढ़ी हुई खरीद का श्रेय अच्छे फसल उत्पादन और किसानों द्वारा अपनी उपज को एमएसपी पर बेचने की बढ़ती इच्छा को दिया जा सकता है। जब बाजार मूल्य एमएसपी से कम होता है, तो किसान अपनी उपज सरकारी खरीद केंद्रों पर बेचना पसंद करते हैं, जिससे सरकारी खरीद का आँकड़ा बढ़ जाता है।

यह विकास किसानों के लिए एक सकारात्मक संकेत है और कृषि क्षेत्र में सरकारी समर्थन की निरंतरता को उजागर करता है। बढ़ी हुई खरीद सरकार के बफर स्टॉक को मजबूत करने और सार्वजनिक वितरण प्रणाली के माध्यम से खाद्य सुरक्षा सुनिश्चित करने में भी महत्वपूर्ण है।

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