
बलरामपुर (उत्तर प्रदेश), 12 जुलाई 2025:
उत्तर प्रदेश की एटीएस (ATS) टीम द्वारा छांगुर बाबा से की गई पूछताछ में अब कई चौंकाने वाले तथ्य सामने आ रहे हैं। बाबा के खिलाफ चल रही जांच में यह सामने आया है कि वह अपने नेटवर्क में गुप्त कोडवर्ड्स का इस्तेमाल करता था ताकि गतिविधियों पर किसी को संदेह न हो।
सूत्रों के अनुसार, बाबा लड़कियों को 'प्रोजेक्ट' कहकर संदर्भित करता था, जबकि धर्मांतरण की प्रक्रिया को 'मिट्टी पलटना' कहा जाता था। इन शब्दों का उपयोग बाबा अपने करीबी साथियों और नेटवर्क के सदस्यों से बातचीत में करता था, खासकर डिजिटल प्लेटफॉर्म्स और मैसेजिंग ऐप्स पर।
ATS की जांच में यह भी सामने आया कि बाबा एक संगठित तरीके से युवतियों को मानसिक रूप से प्रभावित करता, फिर उन्हें कथित तौर पर धर्मांतरण की ओर प्रेरित करता। इस पूरे नेटवर्क में तकनीकी साधनों और सामाजिक प्रभाव का सहारा लिया जा रहा था।
जांच अधिकारियों के अनुसार, कई व्हाट्सएप चैट्स, ईमेल और सोशल मीडिया मैसेज में इन शब्दों का बार-बार इस्तेमाल हुआ है। जैसे– “नया प्रोजेक्ट आ रहा है” या “आज मिट्टी पलटने जाना है”। ये संकेत इस ओर इशारा करते हैं कि मामला केवल धार्मिक नहीं, बल्कि एक सुनियोजित सामाजिक साजिश हो सकता है।
सरकारी एजेंसियां इस पूरे नेटवर्क को ध्वस्त करने के लिए जांच तेज कर चुकी हैं। कुछ और सहयोगियों की पहचान कर ली गई है और उन्हें हिरासत में लिए जाने की प्रक्रिया जारी है।
इस खुलासे के बाद राज्य सरकार ने स्पष्ट किया है कि धर्म परिवर्तन को लेकर किसी भी प्रकार की अवैध गतिविधि को सख्ती से कुचला जाएगा।
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