
Up Kiran, Digital Desk: अमेरिका में एक बेहद दुर्लभ और खतरनाक संक्रमण का पहला मामला सामने आया है। रिपोर्टों के अनुसार, एक व्यक्ति की मौत 'प्राइमरी अमीबिक मेनिंगोएन्सेफलाइटिस' (PAM) नामक जानलेवा दिमागी बीमारी से हो गई है, जो 'नेगलेरिया फाउलेरी' (Naegleria fowleri) नामक एक सूक्ष्म अमीबा के कारण होती है। इस अमीबा को 'दिमाग खाने वाला अमीबा' भी कहा जाता है।
यह संक्रमण अमेरिका में तब हुआ जब व्यक्ति मिसौरी की लेक ऑफ द ओजार्क्स में वाटर स्कीइंग कर रहा था। माना जा रहा है कि इसी दौरान अमीबा पानी के माध्यम से उसकी नाक में प्रवेश कर गया और दिमाग तक पहुंच गया।
क्या है 'दिमाग खाने वाला अमीबा' (Naegleria fowleri)?
'नेगलेरिया फाउलेरी' एक एककोशिकीय जीव है जो आमतौर पर गर्म, मीठे और रुके हुए पानी में पाया जाता है, जैसे कि झीलें, नदियाँ, गर्म पानी के झरने और ठीक से क्लोरीनयुक्त न किए गए स्विमिंग पूल।यह अमीबा मानव शरीर में नाक के रास्ते प्रवेश करता है। एक बार जब यह नाक में चला जाता है, तो यह सीधे मस्तिष्क तक पहुँच जाता है और वहाँ मस्तिष्क के ऊतकों को नष्ट करना शुरू कर देता है।
बीमारी के लक्षण और गंभीरता
इस संक्रमण के शुरुआती लक्षण अक्सर सामान्य फ्लू जैसे होते हैं, जैसे सिरदर्द, बुखार, मतली या उल्टी। लेकिन संक्रमण बढ़ने पर ये गंभीर हो सकते हैं, जिनमें गर्दन में अकड़न, दौरे, भ्रम, मतिभ्रम और अंततः कोमा शामिल हैं। इस बीमारी की सबसे चिंताजनक बात इसकी मृत्यु दर है, जो वैश्विक स्तर पर लगभग 97% है। लक्षण शुरू होने के बाद, यह बीमारी बहुत तेज़ी से बढ़ती है और अक्सर कुछ ही दिनों में (1 से 18 दिनों के भीतर) मौत का कारण बन जाती है।
बचाव के उपाय
चूंकि यह अमीबा गंदे या गर्म पानी के माध्यम से फैलता है, इसलिए कुछ सावधानियां बरतना महत्वपूर्ण है:
गर्म, रुके हुए या गंदे पानी, जैसे कि तालाब, झील या ठीक से क्लोरीनयुक्त न किए गए स्विमिंग पूल में तैरने या नहाने से बचें।
यदि आप ऐसे पानी में जाते हैं, तो अपनी नाक को पानी के संपर्क में आने से बचाएं। तैराकी के दौरान नोज क्लिप का उपयोग करना एक प्रभावी तरीका हो सकता है।
गंदे पानी से नाक साफ करने के लिए नल के पानी (टैप वाटर) का इस्तेमाल करने से बचें, जब तक कि वह उबाला न गया हो या फिल्टर न किया गया हो।
अगर आप ऐसे पानी में डाइविंग करते हैं, तो सुनिश्चित करें कि पानी के अंदर नाक में पानी न जाए।
--Advertisement--