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Up Kiran, Digital Desk: क्रिकेट की दुनिया में कुछ फैसले ऐसे होते हैं जो ना सिर्फ एक टीम की किस्मत बदलते हैं बल्कि पूरे खेल का परिदृश्य ही बदल डालते हैं। ऐसा ही एक कदम उठाया है श्रीलंका क्रिकेट ने, जब उन्होंने भारत के पूर्व बॉलिंग कोच भरत अरुण को अपने क्रिकेटरों की ट्रेनिंग की जिम्मेदारी सौंपी है।

2014 से 2021 तक टीम इंडिया के बॉलिंग अटैक को धार देने वाले भरत अरुण अब श्रीलंकाई क्रिकेट को नया आकार देने जा रहे हैं। वो 2 जून से श्रीलंका के हाई परफॉरमेंस सेंटर में 14 दिन तक सीनियर और जूनियर दोनों स्तर के खिलाड़ियों को ट्रेनिंग देंगे।

क्यों खास है भरत अरुण की नियुक्ति

जब टीम इंडिया 2018-2021 के बीच विदेशी धरती पर लगातार जीत हासिल कर रही थी उस सफलता के पीछे भरत अरुण की रणनीतियां और बॉलर्स के साथ उनकी मेहनत बड़ा कारण थीं। मोहम्मद शमी जसप्रीत बुमराह ईशांत शर्मा जैसे गेंदबाजों की परफॉर्मेंस में आई धार का श्रेय भरत अरुण को ही जाता है।

अब यही अनुभव वो श्रीलंकाई खिलाड़ियों के साथ साझा करेंगे। खास बात ये है कि इस ट्रेनिंग का हिस्सा श्रीलंका की सीनियर टीम के साथ-साथ अंडर-19 और ‘ए’ टीम के खिलाड़ी भी होंगे। इसका मकसद साफ है – श्रीलंका क्रिकेट को जड़ों से मजबूत करना।

जयसूर्या का मिशन: श्रीलंका क्रिकेट की वापसी

श्रीलंका के हेड कोच सनथ जयसूर्या पिछले कुछ समय से श्रीलंकाई क्रिकेट की गिरती साख से परेशान थे। 2023 के वर्ल्ड कप में खराब प्रदर्शन और चैंपियंस ट्रॉफी 2025 के लिए क्वालीफाई ना कर पाना उनके लिए बड़ा झटका था। इसीलिए जयसूर्या ने अब क्रिकेट के हर विभाग में एक्सपर्ट्स की मदद लेने का फैसला लिया है।

इससे पहले टीम इंडिया के फील्डिंग कोच आर. श्रीधर और राजस्थान रॉयल्स के हाई परफॉर्मेंस डायरेक्टर जुबिन भरूचा भी श्रीलंका के खिलाड़ियों को ट्रेनिंग दे चुके हैं। भरत अरुण की मौजूदगी अब इस प्लान में आखिरी मगर बेहद अहम जोड़ मानी जा रही है।

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