
Banking Sector: ये साल मध्यम वर्ग के लिए शुरू से ही राहत भरा रहा है। इससे पहले बजट में मोदी सरकार ने 12 लाख रुपये तक की आय को कर मुक्त कर दिया था। इसके बाद भारतीय रिजर्व बैंक ने रेपो दर में 25 आधार अंकों की कटौती की। अब भारतीय स्टेट बैंक (एसबीआई) ने अपने ग्राहकों के लिए खुशखबरी दी है। एसबीआई ने होम लोन की ब्याज दरों में 25 आधार अंकों की कटौती की है। बैंक ने बाह्य बेंचमार्क आधारित उधार दर (ईबीएलआर) और रेपो लिंक्ड उधार दर (आरएलएलआर) में 25 बीपीएस की कटौती की है। ये नई दरें 15 फरवरी 2025 से लागू की गई हैं।
भारतीय रिजर्व बैंक ने 7 फरवरी, 2025 को नीतिगत रेपो दर को 25 आधार अंकों से घटाकर 6.25 प्रतिशत कर दिया। आरबीआई के फैसले के बाद एसबीआई ने अपनी ब्याज दरों में कटौती की। ईबीएलआर और आरएलएलआर में कटौती का सीधा लाभ उन ग्राहकों को मिलेगा जिनके ऋण इन दरों से जुड़े हैं। ब्याज दरों में कमी से ऋण की मासिक किस्त (ईएमआई) में कमी हो सकती है या ऋण अवधि में कमी हो सकती है।
एसबीआई ने 1 अक्टूबर 2019 से फ्लोटिंग रेट होम लोन को एक्सटर्नल बेंचमार्क लेंडिंग रेट (ईबीएलआर) से जोड़ दिया था। अब इस दर में 0.25% की कटौती कर दी गई है, जिससे होम लोन, पर्सनल लोन और अन्य खुदरा लोन लेने वाले ग्राहकों को राहत मिलेगी। आरएलएलआर में 0.25% की कटौती से उन ग्राहकों को लाभ होगा जिनके ऋण सीधे आरबीआई रेपो दर से जुड़े हैं।
ईबीएलआर क्या है?
ईबीएलआर का तात्पर्य बाह्य बेंचमार्क उधार दर से है। सभी फ्लोटिंग रेट होम लोन ब्याज दरें बाहरी बेंचमार्क से जुड़ी होती हैं। पहले की ईबीएलआर 9.25% + सीआरपी + बीएसपी को संशोधित कर 8.90% + सीआरपी + बीएसपी कर दिया गया है। ईबीएलआर में 0.25% की कटौती की गई है। इसका मतलब यह है कि ईबीएलआर से जुड़े ऋण (जैसे गृह ऋण, व्यक्तिगत ऋण और अन्य खुदरा ऋण) वाले उधारकर्ताओं को कम ब्याज दरों का लाभ मिलेगा। ऐसे ग्राहकों की ऋण किस्तें सस्ती होंगी।
आपकी EMI कितनी कम हो जाएगी?
मान लीजिए आपने एसबीआई से 50 लाख रुपये का लोन लिया है और फिलहाल आपको 9.15% की दर से ब्याज देना पड़ रहा है। 20 वर्ष की अवधि वाले ऋण के लिए मासिक ईएमआई 45,470 रुपये होगी। अब जब बैंक ने ब्याज दर घटाकर 8.90% कर दी है तो आपकी ईएमआई 44,665 रुपये होगी।