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Up Kiran, Digital Desk: नई दिल्ली से लेकर जयपुर तक, पूर्व उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ की चुप्पी चर्चा का विषय बनी हुई है। 21 जुलाई को उन्होंने अचानक अपने पद से इस्तीफा दिया था। लेकिन इसके बाद से ही वे मीडिया से दूरी बनाए हुए हैं। न सार्वजनिक मंच पर दिखाई दे रहे हैं, न ही पत्रकारों के सवालों का जवाब दे रहे हैं।

सूत्र बताते हैं कि इस्तीफे के बाद से धनखड़ अपने सरकारी आवास में ही रह रहे हैं। कार्यालय का दौरा करना तो दूर, उन्होंने उपराष्ट्रपति के तयशुदा वाहन तक इस्तेमाल नहीं किए। उनके फोन कॉल और संदेशों का भी कोई जवाब नहीं मिल रहा। यही कारण है कि राजनीतिक गलियारों में उनके भविष्य और मौन साधने के पीछे के कारणों को लेकर तरह-तरह की अटकलें लगाई जा रही हैं।

राजनीति में बयानबाजी तेज

धनखड़ की चुप्पी को लेकर विपक्ष सवाल उठा रहा है। राहुल गांधी ने हाल ही में पूर्व न्यायमूर्ति बी. सुदर्शन रेड्डी को विपक्ष का उपराष्ट्रपति उम्मीदवार घोषित करते हुए धनखड़ को आड़े हाथों लिया। राहुल का कहना है कि इस्तीफे का कारण केवल वही जानते हैं और सच किसी न किसी दिन सामने आएगा। उन्होंने यह सवाल भी उठाया कि संसद में इतने मुखर रहने वाले व्यक्‍ति अब अचानक खामोश क्यों हो गए।

इधर गृह मंत्री अमित शाह ने इस पूरे विवाद पर सफाई देते हुए कहा कि धनखड़ ने निजी स्वास्थ्य कारणों से पद छोड़ा है। शाह के मुताबिक इसे अनावश्यक रूप से राजनीतिक रंग नहीं दिया जाना चाहिए।

सुदेश धनखड़ का राजस्थान प्रवास

दिल्ली में भले ही पूर्व उपराष्ट्रपति दिखाई नहीं दे रहे, लेकिन उनकी पत्नी सुदेश धनखड़ लगातार राजस्थान आ-जा रही हैं। खबरों के अनुसार, पिछले एक माह में वह तीन बार राज्य का दौरा कर चुकी हैं। इन यात्राओं के दौरान उन्होंने जयपुर का भी रुख किया, जहां परिवार की पैतृक जमीन पर व्यावसायिक इमारतों का निर्माण कार्य चल रहा है। सुदेश इस दौरान सरकारी गाड़ी की बजाए निजी वाहन का इस्तेमाल करती रही हैं।

जयपुर के न्यू सांगानेर रोड स्थित इस स्थल पर काम तेजी से आगे बढ़ रहा है। यहां पर लगे बोर्ड पर पहले "कामना फार्म हाउस" लिखा था, जो उनकी बेटी के नाम पर रखा गया था। स्थानीय मजदूर और दुकानदार बताते हैं कि सुदेश अक्सर निर्माण का जायजा लेने पहुंचती हैं।

दिल्ली में दिनचर्या

दिल्ली स्थित आवास में धनखड़ का जीवन इन दिनों अपेक्षाकृत शांत है। उनके करीबी लोगों का कहना है कि उनका दिन योगाभ्यास से शुरू होता है और कई बार शाम को पड़ोस के मिनी स्पोर्ट्स कॉम्प्लेक्स में टेबल टेनिस खेलते नजर आते हैं। उनकी बेटी कामना वाजपेयी भी गुरुग्राम से समय-समय पर उनसे मिलने आती रहती हैं।

खबर यह भी है कि वे इस दौरान राजनीतिक और कानूनी विषयों पर आधारित फिल्में व धारावाहिक देखने में रुचि ले रहे हैं। स्टाफ के अनुसार, उन्हें "द लिंकन लॉयर" और "हाउस ऑफ कार्ड्स" जैसी कहानियाँ पसंद हैं।

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