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Up Kiran, Digital Desk: भारतीय विदेश नीति के तहत प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी एक महत्वपूर्ण 5 देशों के दौरे पर हैं, जिसकी शुरुआत ब्राजील से हो चुकी है और इसमें घाना जैसे देश भी शामिल हैं। यह यात्रा केवल द्विपक्षीय संबंधों को मजबूत करने के लिए नहीं, बल्कि भारत की 'ग्लोबल साउथ' (विकासशील देशों) तक पहुंच और "ऑपरेशन सिंदूर" नामक एक नई कूटनीतिक पहल पर केंद्रित है।

क्या है 'ग्लोबल साउथ' पर फोकस?
भारत लगातार 'ग्लोबल साउथ' के देशों की आवाज़ बनने और उनके हितों का प्रतिनिधित्व करने पर ज़ोर दे रहा है। यह यात्रा इसी रणनीति का हिस्सा है, जहाँ भारत उन देशों के साथ संबंध मजबूत कर रहा है जो विकसित राष्ट्रों के प्रभुत्व वाली वैश्विक व्यवस्था में अपनी पहचान बनाना चाहते हैं। इन देशों के साथ मिलकर भारत एक बहुध्रुवीय विश्व व्यवस्था को बढ़ावा देना चाहता है जहाँ सभी की आवाज़ सुनी जाए।

'ऑपरेशन सिंदूर' क्या है?
यह एक नई और दिलचस्प कूटनीतिक पहल लग रही है, जिसके बारे में अभी पूरी जानकारी सामने नहीं आई है, लेकिन शीर्षक से संकेत मिलता है कि यह एक विशेष पहुंच या सहयोग कार्यक्रम हो सकता है। यह 'ग्लोबल साउथ' के देशों के साथ भारत के संबंधों को और गहरा करने के लिए एक विशेष रणनीति हो सकती है, जिसमें सांस्कृतिक, आर्थिक या सुरक्षा सहयोग शामिल हो सकता है।

प्रधानमंत्री मोदी की यह यात्रा भारत की बढ़ती वैश्विक भूमिका, उसकी स्वतंत्र विदेश नीति और विकासशील देशों के साथ एकजुटता को दर्शाती है। यह भारत को एक जिम्मेदार और प्रभावशाली वैश्विक शक्ति के रूप में स्थापित करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है, जो केवल अपने हित ही नहीं, बल्कि एक न्यायपूर्ण और संतुलित विश्व व्यवस्था के लिए भी काम करता है।

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