
Up Kiran, Digital Desk: योनि सिस्ट, जिसे योनि सिस्ट (Vaginal Cyst) भी कहा जाता है, योनि की दीवारों के अंदर या सतह पर बनने वाली छोटी, तरल पदार्थ से भरी गांठें होती हैं। ये आमतौर पर हानिरहित होती हैं, लेकिन कुछ मामलों में असहजता या संक्रमण का कारण बन सकती हैं। 2025 में भी, इन सिस्ट्स के बारे में जागरूकता महत्वपूर्ण है ताकि समय पर इनका निदान और उपचार किया जा सके।
योनि सिस्ट के मुख्य कारण (Causes of Vaginal Cysts):
योनि सिस्ट कई कारणों से विकसित हो सकती हैं, जिनमें शामिल हैं:
ब्लॉक हुई स्वेद ग्रंथियां (Blocked Sweat Glands): योनि के आसपास की पसीने की ग्रंथियां (Sudoriferous glands) जब बंद हो जाती हैं, तो उनके अंदर तरल पदार्थ जमा हो जाता है, जिससे सिस्ट बन सकती है।
ब्लॉक हुई बर्थोलिन ग्रंथियां (Blocked Bartholin's Glands): ये ग्रंथियां योनि के प्रवेश द्वार के दोनों ओर स्थित होती हैं और स्नेहन (lubrication) का काम करती हैं। जब ये ग्रंथियां बंद हो जाती हैं, तो सिस्ट या फोड़ा (abscess) बन सकता है।
योनि की चोट (Vaginal Injury): बच्चे के जन्म या किसी अन्य चोट के कारण योनि की दीवार में चोट लगने पर, ऊतक (tissue) के अंदर सिस्ट बन सकती है।
प्रजनन पथ में रुकावट (Obstruction in the Reproductive Tract): कभी-कभी, जन्म के समय से ही योनि में कुछ रुकावटें या असामान्यताएं हो सकती हैं, जो सिस्ट के निर्माण का कारण बन सकती हैं।
अन्य प्रकार की सिस्ट: योनि में कई अन्य प्रकार की सिस्ट भी पाई जा सकती हैं, जैसे डर्मोइड सिस्ट (dermoid cysts), एपिडर्मोइड सिस्ट (epidermoid cysts), और म्यूसिनस सिस्ट (mucinous cysts), जो विभिन्न ऊतकों से उत्पन्न होती हैं।
योनि सिस्ट के लक्षण (Symptoms of Vaginal Cysts):
अधिकांश योनि सिस्ट में कोई लक्षण दिखाई नहीं देते हैं और वे संयोगवश ही पता चलती हैं। हालांकि, जब सिस्ट बड़ी हो जाती है या संक्रमित हो जाती है, तो निम्नलिखित लक्षण दिखाई दे सकते हैं:
दर्द या बेचैनी: सिस्ट के स्थान पर छूने या बैठने पर दर्द या दबाव महसूस होना।
सूजन: योनि की दीवार में गांठ या सूजन महसूस होना।
सेक्स के दौरान दर्द: यौन संबंध के दौरान दर्द या असहजता।
चलने या बैठने में परेशानी: बड़ी सिस्ट के कारण चलने-फिरने या बैठने में कठिनाई।
संक्रमण के लक्षण: यदि सिस्ट संक्रमित हो जाती है, तो लालिमा, जलन, मवाद का रिसाव और बुखार जैसे लक्षण भी हो सकते हैं।
योनि सिस्ट का उपचार (Treatment for Vaginal Cysts):
योनि सिस्ट का उपचार सिस्ट के प्रकार, आकार, लक्षण और संक्रमण की उपस्थिति पर निर्भर करता है:
निगरानी (Observation): यदि सिस्ट छोटी है, दर्द रहित है और कोई लक्षण पैदा नहीं कर रही है, तो डॉक्टर इसे केवल निगरानी में रखने की सलाह दे सकते हैं। कई बार ये अपने आप ठीक हो जाती हैं।
गर्म सिकाई (Warm Compresses): सिस्ट को आराम देने और उसे ठीक करने में मदद करने के लिए प्रभावित क्षेत्र पर गर्म सिकाई की जा सकती है। इससे सिस्ट के फटने में भी मदद मिल सकती है।
एंटीबायोटिक्स (Antibiotics): यदि सिस्ट में संक्रमण (संक्रमित सिस्ट या फोड़ा) हो गया है, तो डॉक्टर एंटीबायोटिक्स निर्धारित कर सकते हैं।
सर्जिकल ड्रेनेज (Surgical Drainage): यदि सिस्ट बड़ी है, दर्दनाक है या संक्रमित है, तो डॉक्टर सिस्ट को चीरा लगाकर उसका तरल पदार्थ निकालने (ड्रेनेज) की सलाह दे सकते हैं।
सिस्ट को हटाना (Excision): कुछ मामलों में, विशेष रूप से बार-बार होने वाली या परेशान करने वाली सिस्ट को सर्जरी द्वारा पूरी तरह से हटाने की आवश्यकता हो सकती है।
डॉक्टर से कब मिलें?
यदि आपको योनि में कोई गांठ, सूजन, दर्द या बेचैनी महसूस होती है, तो तुरंत डॉक्टर से संपर्क करना चाहिए। वे सही निदान कर सकेंगे और उचित उपचार की सलाह देंगे। स्व-उपचार (self-treatment) से बचें, क्योंकि इससे संक्रमण बढ़ सकता है
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