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कांग्रेस सांसद शशि थरूर ने पनामा में एक महत्वपूर्ण बयान में भारत की आतंकवाद के प्रति जीरो टॉलरेंस नीति को स्पष्ट किया।  उन्होंने कहा कि अब महात्मा गांधी के देश का दूसरा गाल आगे नहीं किया जाएगा; हम जवाब देंगे।  उनका यह बयान पाकिस्तान द्वारा जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में किए गए आतंकी हमले के संदर्भ में था, जिसे उन्होंने पाकिस्तान की सेना की कुटिल साजिश करार दिया।

थरूर ने कहा कि यह हमला पाकिस्तान की ओर से भारत को कमजोर करने और कश्मीरी अर्थव्यवस्था को नुकसान पहुँचाने की एक सोची-समझी रणनीति का हिस्सा था।  उन्होंने यह भी बताया कि इस हमले में मारे गए आतंकवादियों के शवों की अंतिम यात्रा में पाकिस्तान सेना के अधिकारियों की उपस्थिति ने पाकिस्तान के आतंकवादियों के प्रति समर्थन को उजागर किया।

इससे पहले, थरूर ने न्यूयॉर्क में एक कार्यक्रम में भारत की प्रतिक्रिया को 'स्मार्ट और सटीक' बताया था, जिसमें पाकिस्तान में स्थित आतंकवादी शिविरों को निशाना बनाया गया था।  उन्होंने कहा था कि समय आ गया था कि भारत कड़ी और सटीक कार्रवाई करे, और यही भारत ने किया।

उनके इस बयान ने कांग्रेस पार्टी के भीतर कुछ मतभेद उत्पन्न किए हैं, क्योंकि कुछ नेताओं ने इसे भाजपा के दृष्टिकोण के समान पाया।  हालांकि, थरूर ने स्पष्ट किया कि उनका बयान भारत की वर्तमान सुरक्षा नीति के अनुरूप था और उन्होंने इसे पार्टी के भीतर मतभेदों से जोड़ने की आवश्यकता नहीं समझी।

विदेश मंत्री एस. जयशंकर ने भी हाल ही में कहा था कि पाकिस्तान के साथ अब बिना शर्त वार्ता संभव नहीं है, और भारत आतंकवाद के खिलाफ अपनी नीति में कोई समझौता नहीं करेगा।  उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि भारत पाकिस्तान से संबंधित सभी मामलों को द्विपक्षीय रूप से ही निपटाएगा, बिना किसी बाहरी मध्यस्थता के। 
 

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