img

Up Kiran, Digital Desk: भारतीय क्रिकेट फैंस के लिए सोमवार, 4 अगस्त का दिन यादगार बन गया, जब तेज़ गेंदबाज मोहम्मद सिराज ने ओवल टेस्ट में ऐसा प्रदर्शन किया जिसने करोड़ों दिलों को जीत लिया। हर बार जब सिराज रन-अप लेते दिखे, टीवी स्क्रीन के उस पार बैठे दर्शकों की धड़कनें बढ़ती गईं। और आखिरकार, उनकी मेहनत रंग लाई – एक ऐसी जीत मिली जिसे लंबे वक्त तक भुलाया नहीं जा सकेगा।

185 ओवर से ज्यादा, 1100 से अधिक गेंदें, और घंटों की थकाऊ गेंदबाज़ी के बाद सिराज ने इंग्लैंड के खिलाफ 9 विकेट चटकाकर भारत को सिर्फ़ छह रन से रोमांचक जीत दिलाई। ये न सिर्फ़ उनके टेस्ट करियर का पांचवां "फाइव-फॉर" था, बल्कि उन्होंने अंतिम दिन टीम इंडिया की डूबती नैया को पार भी लगाया – जब इंग्लैंड को जीत के लिए केवल 35 रन चाहिए थे और उनके हाथ में चार विकेट बचे थे।

भारत और इंग्लैंड के बीच ये टेस्ट सीरीज़ 2-2 से ड्रॉ हुई। युवा कप्तान शुभमन गिल और कोच गौतम गंभीर के लिए ये राहत भरा क्षण था, क्योंकि टीम चयन को लेकर हो रही आलोचना के बीच यह परिणाम एक तरह से उनकी रणनीति की जीत साबित हुई।

सिराज का यह प्रदर्शन केवल एक मैच की बात नहीं है, बल्कि उनके निरंतर सुधार और समर्पण का नतीजा है। विदेश में खेले गए 27 टेस्ट में से 12 में टीम को जीत दिला चुके सिराज ने अब जसप्रीत बुमराह के विदेशी टेस्ट जीत के रिकॉर्ड की बराबरी कर ली है। एमएस धोनी जैसे दिग्गज कप्तान को भी उन्होंने पीछे छोड़ दिया है, जो 48 विदेशी टेस्ट में केवल 11 जीत दिला पाए थे।

क्रिकेट के इतिहास में नाम दर्ज कराने की इस दौड़ में सिराज अब राहुल द्रविड़ और विराट कोहली जैसे महान खिलाड़ियों के साथ खड़े हो गए हैं। द्रविड़ ने विदेश में 24 और कोहली ने 23 टेस्ट मैच जीते हैं, जो उन्हें क्रमशः पहले और दूसरे पायदान पर रखते हैं।

टीम इंडिया के लिए सिराज की अब तक की 22 टेस्ट जीतों में हिस्सेदारी उन्हें मोहम्मद अजहरुद्दीन के बराबर ले आती है, जिन्होंने 99 टेस्ट मैच खेले थे। दिलचस्प बात यह है कि सिराज ने यह मुकाम कम मैचों में ही हासिल कर लिया है। मौजूदा कप्तान शुभमन गिल (18 जीत) और बुमराह (20 जीत) से भी वह अब आगे निकल चुके हैं।

इंग्लैंड दौरे के बाद भारतीय गेंदबाज़ों के लिए यह थोड़ा सुकून भरा समय है, क्योंकि टीम को अगले एक साल में सिर्फ़ चार टेस्ट खेलने हैं, और वे सभी घरेलू मैदानों पर होंगे। ऐसे में सिराज और अन्य तेज गेंदबाज़ों को आराम मिलेगा और वे अगली चुनौती के लिए तरोताज़ा हो सकेंगे।

--Advertisement--