img

Up Kiran, Digital Desk: हमारी पारंपरिक चिकित्सा पद्धतियों में कई ऐसे नुस्खे हैं, जिन्हें अब आधुनिक विज्ञान भी प्रभावी मानता है। हल्दी वाला दूध, जो कई पीढ़ियों से घरों में इलाज का हिस्सा रहा है, अब एक ग्लोबल ट्रेंड बन चुका है। पहले यह बस एक घरेलू उपाय था, लेकिन आजकल इसे गोल्डन मिल्क के नाम से जाना जाता है और यह दुनियाभर के कैफे और रेस्टोरेंट्स में स्टाइलिश ड्रिंक के रूप में परोसा जाता है।

हल्दी वाला दूध क्यों है खास?

हल्दी, जो भारतीय रसोई में एक सामान्य मसाला समझी जाती है, दरअसल एक आयुर्वेदिक खजाना है। यह एंटीबैक्टीरियल, एंटीवायरल और एंटी-इंफ्लेमेटरी गुणों से भरपूर है। यही वजह है कि हल्दी वाला दूध सर्दी-खांसी, जोड़ों के दर्द, थकान और नींद की समस्याओं में बहुत प्रभावी साबित होता है। यदि इसे नियमित रूप से पिया जाए, तो न केवल शरीर की रोग प्रतिरोधक क्षमता में वृद्धि होती है, बल्कि त्वचा भी स्वस्थ रहती है।

क्या हल्दी वाला दूध वजन घटाने में सहायक है?

अगर आप वजन कम करने के लिए किसी प्राकृतिक तरीके की तलाश में हैं, तो हल्दी वाला दूध आपके लिए फायदेमंद हो सकता है। इसमें मौजूद हल्दी मेटाबॉलिज्म को बढ़ावा देती है और शरीर की सूजन को कम करती है, जिससे फैट बर्न होने की प्रक्रिया तेज होती है। इसके अलावा, दूध में पाए जाने वाले प्रोटीन और गुड फैट शरीर के रिकवरी प्रोसेस में मदद करते हैं, जिससे आप खुद को ज्यादा एक्टिव और एनर्जेटिक महसूस करते हैं।

हल्दी वाला दूध बनाने के लिए कौन सा दूध है सबसे अच्छा?

हल्दी वाला दूध बनाने के लिए ताजे और फुल क्रीम वाले दूध का उपयोग सबसे अच्छा होता है। यह दूध जल्दी खराब हो जाता है और इसे बिना फ्रिज में रखे लंबे समय तक स्टोर नहीं किया जा सकता, जो इसे नैचुरल और असली मानने का एक संकेत है। अगर ताजे गाय या भैंस के दूध का विकल्प न हो, तो आप बादाम, ओट्स या सोया दूध का भी इस्तेमाल कर सकते हैं। ये सभी विकल्प हेल्दी और स्वादिष्ट होते हैं।