Up Kiran, Digital Desk: अमेरिकी खुफिया एजेंसी की एक प्रारंभिक मूल्यांकन रिपोर्ट ने ईरान के परमाणु ठिकानों पर हुए सैन्य हमलों को लेकर एक बड़ा सवालिया निशान खड़ा कर दिया है। इस रिपोर्ट में दावा किया गया है कि राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प के 'पूरी तरह से नष्ट' करने के बयान के विपरीत, इन हमलों से ईरान के परमाणु कार्यक्रम को सिर्फ कुछ महीनों के लिए ही झटका लगा है।
रक्षा खुफिया एजेंसी (DIA), जो पेंटागन की खुफिया शाखा है उसके द्वारा सोमवार को जारी यह रिपोर्ट, ईरान की परमाणु सुविधाओं की स्थिति के बारे में राष्ट्रपति ट्रम्प और इजरायल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू के पहले के दावों से सीधे तौर पर विरोधाभास पैदा कर रही है।
हमले और उनके कथित परिणाम
बीती 22 जून को, संयुक्त राज्य अमेरिका ने ईरान के तीन प्रमुख परमाणु संयंत्रों, जिनमें फोर्डो, नटांज़ और इस्फ़हान शामिल हैं, पर हवाई हमले किए थे। अमेरिका और इज़राइल दोनों देशों का कहना था कि इन ठिकानों का इस्तेमाल गुप्त रूप से परमाणु बम विकसित करने के लिए किया जा रहा था।
मगर DIA की रिपोर्ट, जिससे परिचित सूत्रों ने जानकारी दी है, बताती है कि इन परमाणु स्थलों पर हमलों से बेशक काफी नुकसान हुआ, मगर वे "पूरी तरह से नष्ट" नहीं हुए।
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