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Up Kiran, Digital Desk:उत्तर प्रदेश सरकार ने महिला कर्मचारियों के अधिकार बढ़ाने के लिए एक बड़ा कदम उठाया है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में जारी राजपत्रित आदेश के अनुसार अब महिलाएँ शाम 7:00 बजे से सुबह 6:00 बजे तक की रात्रि पाली में काम कर सकती हैं। यह निर्णय लैंगिक समानता और महिला सशक्तिकरण के दृष्टिकोण से बेहद महत्वपूर्ण माना जा रहा है।

महिला सुरक्षा और वेतन में सुधार
सरकार ने आदेश में महिला कर्मचारियों की सुरक्षा का विशेष ध्यान रखा है। नियोक्ताओं को सीसीटीवी, महिला सुरक्षा गार्ड और रात में काम करने वाली महिलाओं के लिए सुरक्षित परिवहन सुविधाएँ उपलब्ध कराना अनिवार्य किया गया है। साथ ही, रात के समय किए गए काम का वेतन दोगुना देने का प्रावधान भी रखा गया है।

अधिक काम और ओवरटाइम की सुविधा
इस नए नियम से महिलाएँ सप्ताह में छह दिन काम कर सकती हैं। इसके अलावा, ओवरटाइम की सीमा भी बढ़ाकर प्रति तिमाही 144 घंटे कर दी गई है। ओवरटाइम का वेतन भी दोगुना मिलेगा। यह बदलाव औद्योगिक और कॉर्पोरेट सेक्टर में महिलाओं के लिए अधिक लचीलापन और बेहतर पारिश्रमिक सुनिश्चित करेगा।

खतरनाक उद्योगों में भी महिलाओं को अवसर
योगी सरकार के इस आदेश के बाद अब महिलाएँ पहले प्रतिबंधित 29 खतरनाक उद्योगों में भी काम कर सकती हैं। इससे महिलाओं को पहले असुरक्षित माने जाने वाले क्षेत्रों में रोजगार के नए अवसर मिलेंगे।

महिला सशक्तिकरण की दिशा में कदम
यह निर्णय केवल उत्तर प्रदेश तक सीमित नहीं है। दिल्ली में भी हाल ही में मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता ने दुकानों और व्यावसायिक प्रतिष्ठानों में महिलाओं के रात्रि पाली में काम करने पर लगे प्रतिबंध हटाने की घोषणा की है। यह प्रयास महिलाओं के रोजगार अधिकार और कार्यस्थल पर समानता को बढ़ावा देने का संकेत है।

कड़ी निगरानी और पालन नियम
सरकार ने स्पष्ट किया है कि नए नियमों के लागू होने के बाद कड़ी निगरानी रखी जाएगी। सुरक्षा और वेतन संबंधी उल्लंघन करने वाले नियोक्ताओं के खिलाफ श्रम कानूनों के तहत सख्त कार्रवाई की जाएगी। इस तरह महिलाएँ हर क्षेत्र में आत्मविश्वास और सुरक्षित तरीके से काम कर सकेंगी।