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भाजपा ने छत्तीसगढ़ में विधानसभा इलेक्शन के लिए 21 प्रत्याशियों के नाम की घोषणा कर दी है। छत्तीसगढ़ में कांग्रेस से सत्ता छीनने की कोशिश में जुटी भाजपा ने सीएम भूपेश बघेल के विरूद्ध उनके भतीजे विजय बघेल को उतारकर मुकाबले को दिलचस्प बना दिया है। भाजपा के इस फैसले के बाद इस बार सीएम बघेल और भतीजे बघेल के बीच दिलचस्प मुकाबला देखने को मिलेगा।

दरअसल छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री और कांग्रेस नेता भूपेश बघेल दुर्ग जिले की पाटन विधानसभा सीट से विधायक हैं। इस सीट से भाजपा ने सीएम बघेल के भतीजे विजय बघेल को उम्मीदवार बनाया है। चाचा भूपेश के कट्टर विरोधी माने जाने वाले विजय बघेल अभी दुर्ग सीट से भाजपा के सांसद हैं। भूपेश की तरह विजय की भी गिनती छत्तीसगढ़ के दिग्गज नेताओं में होती है। ऐसे में पाटन सीट पर इस बार बेहद दिलचस्प मुकाबला होने वाला है। बराबरी पर है चाचा भतीजे का मुकाबला।

चाचा भूपेश और भतीजे विजय के बीच पाटन में पहले भी दो बार मुकाबला हो चुका है। दोनों एक दूसरे को एक एक बार मात दे चुके हैं। दो हज़ार आठ के विधानसभा चुनाव में विजय बघेल ने चाचा भूपेश बघेल को मात दी थी। पाँच साल बाद दो हज़ार 13 में भूपेश ने विजय को हराया था। 2018 के विधानसभा चुनाव में BJP ने विजय को टिकट नहीं दिया था। 2019 में उन्हें दुर्ग लोकसभा सीट से टिकट दिया गया था और वो कांग्रेस उम्मीदवार प्रतिमा चंद्राकर को भारी मतों से हराकर सांसद बने थे।

राजनीतिक जानकारों का मानना है कि इस बार विधानसभा चुनाव में पाटन सीट से विजय बघेल को भाजपा प्रत्याशी बनाए जाने से सीएम भूपेश बघेल के लिए मुश्किलें खड़ी करने वाली होंगी। छत्तीसगढ़ विधानसभा चुनाव के लिए सीएम भूपेश बघेल ही मुख्यमंत्री का फेस है। कांग्रेस के स्टार प्रचारकों में भी उनका नाम है। ऐसे में अगर वो पाटन विधानसभा छोड़ कर दूसरे विधान सभा में कांग्रेस प्रत्याशियों के लिए प्रचार करेंगे तो नुकसान उठाना पड़ सकता है।

विजय के साथ है स्थानीय फैक्टर पाटन में ओबीसी वर्ग के सबसे ज्यादा वोटर हैं। राजनीतिक जानकारों का कहना है कि सीएम भूपेश बघेल को टक्कर देने के लिए भाजपा के पास दूसरा कोई विकल्प भी नहीं है। विजय बघेल स्थानीय हैं। दूसरा वर्तमान में वो दुर्ग जिले से सांसद हैं। वो पहले भी इस क्षेत्र के विधायक रह चुके हैं। राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी के बैनर तले चुनाव लड़ने के दौरान उन्होंने भाजपा और कांग्रेस दोनों पार्टियों के लिए मुश्किलें खड़ी की थी। 
 

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