Russia-Ukraine Conflict: Third World War की आहट से कांपी दुनिया, पहले और दूसरे युद्ध की ये बातें जानकर कांप जाएगी आपकी रूह!

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Russia-Ukraine Conflict.रूस और यूक्रेन के बीच लगातार तनाव बढ़ने की खबरें आ रही हैं. खबर के मुताबिक रूस के 1.5 लाख से ज्यादा सैनिक यूक्रेन की सीमा के पास तैनात हैं. वहीँ अमेरिका समेत पश्चिमी देशों ने चिंता जताई है कि रूस कभी भी यूक्रेन पर हमला कर सकता है. रूस और यूक्रेन के बीच युद्ध (Third World War) के हालात बनने से तीसरे विश्व युद्ध का खतरा भी खड़ा हो सकता है. वो इसलिए भी क्योंकि ब्रिटिश पीएम बोरिस जॉनसन पहले ही कह चुके हैं कि रूस दूसरे विश्व युद्ध के बाद यूरोप में सबसे बड़ी जंग की तैयारी कर रहा है.Russia-Ukraine Conflict - Third World War

रूस और यूक्रेन की महाजंग (Third World War) को लेकर खतरा इसलिए भी बढ़ रहा है क्योंकि एक तरफ यूक्रेन की रक्षा के लिए अमेरिका, फ्रांस, ब्रिटेन और जर्मनी जैसे NATO देशों ने अपनी सेनायें भी भेज दी हैं. वहीँ दूसरी ओर रूस-यूक्रेन की सीमा पर हथियार और सैनिकों की तैनाती लगातार बढ़ा रहा है.  (Russia-Ukraine Conflict)

दुनिया इससे पहले दो विश्व-युद्ध झेल चुकी है और उन दोनों जंग में जितनी बड़ी तबाही मची थी, वो तीसरे विश्व युद्ध (Third World War) में मचने वाली तबाही की भयावह तस्वीर दिखाती है. बता दें कि दोनों विश्व युद्ध में दुनिया में न सिर्फ करोड़ों मौतें हुई थीं, बल्कि भुखमरी और महंगाई जैसे हालात भी बन गये थे. आइये जानते हैं कि पहला और दूसरा विश्व युद्ध शुरू कैसे हुआ था ? (Russia-Ukraine Conflict)

प्रथम विश्व युद्ध 28 जुलाई 1914 से 11 नवंबर 2018 तक चला था. हालाँकि कोई भी देश इस युद्ध की जिम्मेदारी नहीं लेता है. वहीँ, पहले विश्व-युद्ध का कारण ऑस्ट्रिया-हंगरी साम्राज्य के उत्तराधिकारी और उनकी पत्नी की हत्या को माना जाता है. (Russia-Ukraine Conflict)

जून 2014 में ऑस्ट्रिया-हंगरी साम्राज्य के उत्तराधिकारी आर्चड्यूक फर्डिनेंड अपनी पत्नी के साथ बोस्निया के साराएवो के दौरे पर थे. 28 जून 1914 को उनकी हत्या कर दी गई. उसी दिन उनकी शादी की 14वीं सालगिरह भी थी. हत्या का आरोप सर्बिया पर लगा. (Russia-Ukraine Conflict)

महीने भर बाद ही ऑस्ट्रिया ने सर्बिया के खिलाफ युद्ध छेड़ दिया. बाकी देश भी इसके बाद धीरे-धीरे शामिल होते चले गये और दो देशों की जंग विश्व-युद्ध में बदल गई. इस युद्ध में जर्मनी, फ्रांस, ब्रिटेन और अमेरिका जैसे देश शामिल थे. (Third World War)

4 वर्षों तक चले युद्ध के बाद 11 नवंबर 2018 को जर्मनी के सरेंडर के साथ ही पहला विश्व-युद्ध भी खत्म हो गया. 28 जून 1919 को जर्मनी ने वर्साय संधि पर हस्ताक्षर किये. इस संधि के तहत जर्मनी के अपने बड़े हिस्से को गंवाना भी पड़ा. जर्मनी पर कई सारे प्रतिबंध भी लगा दिये गये. ब्रिटिश सरकार के मुताबिक, पहले विश्व युद्ध में 94 लाख लोग मारे गये थे. (Russia-Ukraine Conflict)

हालाँकि पहले विश्व युद्ध की जिम्मेदारी जर्मनी पर डाल दी गई और यह भी कहा जाता है कि उसे वर्साय की संधि पर हस्ताक्षर करने के लिए मजबूर किया गया. जर्मन नेशनल सोशलिस्ट (नाजीवाद) पार्टी के नेता एडोल्फ हिटलर ने वर्साय संधि को पलटने का वादा किया. (Russia-Ukraine Conflict)

फरवरी 1933 में हिटलर जर्मनी के चांसलर बन गये, बाद में उन्होंने खुद को तानाशाह के रूप में स्थापित कर दिया. मार्च 1938 में जर्मनी और ऑस्ट्रिया एक हो गये. हिटलर की सेना ने मार्च 1939 में चेकोस्लोवाकिया पर हमला कर उसे कब्जा लिया. (Third World War)

चेकोस्लोवाकिया पर कब्जे के बाद पोलैंड की बारी थी.1 सितंबर 1939 को जर्मनी की सेना पोलैंड में घुस गई और इसी के साथ दूसरा विश्व-युद्ध शुरू हुआ. इसके बाद दुनिया दो भागों में बंट गई. एक था मित्र राष्ट्र जिसमें अमेरिका, फ्रांस, ब्रिटेन, सोवियत संघ जैसे देश थे और दूसरा था धुरी राष्ट्र जिसमें जर्मनी, इटली और जापान शामिल थे. (Russia-Ukraine Conflict)

हिटलर की सेना ने नॉर्वे, डेनमार्क, लक्जमबर्ग, बेल्जियम, नीदरलैंड जैसे देशों पर कब्जा करना शुरू कर दिया. जर्मन सेना ने सोवियत संघ के खिलाफ भी युद्ध छेड़ दिया. हालांकि, जर्मन सैनिक सोवियत सेना के आगे ज्यादा टिक नहीं सके. बाद में हिटलर को ऐसी सनक छूटी कि उसने अमेरिका के खिलाफ भी जंग छेड़ दी. (Third World War)

सोवियत संघ से हार के बाद जर्मन सैनिक यूरोपीय देशों से भी खदेड़े जाने लगे.अमेरिका, ब्रिटेन और सोवियत संघ ने मिलकर जर्मन शहरों पर बमबारी शुरू कर दी.आखिरकार जब जर्मनी की हार लगभग तय हो गई तो 30 अप्रैल 1945 को हिटलर ने आत्महत्या कर ली. 8 मई 1945 को जर्मनी ने सरेंडर कर दिया. (Russia-Ukraine Conflict)

जर्मनी के सरेंडर के बाद भी जापान आत्म समर्पण के लिए तैयार नहीं था. इसी वजह से अमेरिका ने 6 अगस्त 1945 को हिरोशिमा और 9 अगस्त 1945 को नागासाकी पर परमाणु बम से हमला कर दिया.आखिरकार जापान ने भी सरेंडर कर दिया और 2 सितंबर 1945 को दूसरा विश्व युद्ध खत्म हुआ. (Third World War)

एक अनुमान के मुताबिक, दूसरे विश्व युद्ध में 7.85 करोड़ लोग मारे गए थे, जिसमें 5.5 करोड़ से ज्यादा सैनिक शामिल थे. इतना ही नहीं, 30 लाख से ज्यादा लोग तो लापता हो गए थे और परमाणु हमले की वजह से आज भी जापान में कई सारी बीमारियां हैं. इसलिए इसे अब तक का सबसे भयावह युद्ध माना जाता है. (Russia-Ukraine Conflict)

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